नई दिल्ली। हीरो मोटोकॉर्प, स्पाइसजेट और ग्रासिम इंडस्ट्रीज ने अपने तिमाही नतीजे जारी कर दिये हैं। इसमें से सिर्फ ग्रासिम इंडस्ट्रीज ने अपने प्रॉफिट में बढ़त दर्ज की है। वहीं हीरो मोटोकॉप का लाभ घटा है। दूसरी तरफ तिमाही के दौरान स्पाइसजेट के नुकसान में बढ़त दर्ज हुई है।
हीरो मोटोकॉर्प
देश की अग्रणी दोपहिया कंपनी हीरो मोटोकॉर्प का सितंबर में समाप्त चालू वित्त वर्ष की दूसरी तिमाही का एकीकृत शुद्ध लाभ 22 प्रतिशत घटकर 747.79 करोड़ रुपये रह गया। इससे पिछले वित्त वर्ष की समान तिमाही में कंपनी ने 963.82 करोड़ रुपये का शुद्ध लाभ कमाया था। कंपनी ने कहा है कि वह अपना पहला ईवी उत्पाद मार्च, 2022 में पेश करने की तैयारी कर रही है। शेयर बाजारों को भेजी सूचना में कंपनी ने कहा कि तिमाही के दौरान उसकी एकीकृत परिचालन आय घटकर 8,538.85 करोड़ रुपये रह गई, जो इससे पिछले वित्त वर्ष की समान तिमाही में 9,473.32 करोड़ रुपये थी। तिमाही के दौरान कंपनी ने 14.38 लाख वाहन बेचे। यह पिछले वित्त वर्ष की समान अवधि के 18.22 लाख इकाइयों के आंकड़े से 21 प्रतिशत कम है।
स्पाइसजेट
स्पाइसजेट का शुद्ध घाटा सितंबर में समाप्त चालू वित्त वर्ष की दूसरी तिमाही में बढ़कर 561.7 करोड़ रुपये पर पहुंच गया। इससे पिछले वित्त वर्ष की समान तिमाही में एयरलाइन कंपनी को 112.6 करोड़ रुपये का शुद्ध घाटा हुआ था। कंपनी ने शुक्रवार को बयान में कहा कि तिमाही के दौरान उसकी कुल आय बढ़कर 1,538.6 करोड़ रुपये पर पहुंच गई, जो एक साल पहले समान तिमाही में 1,292.9 करोड़ रुपये थी। तिमाही के दौरान कंपनी का कुल खर्च बढ़कर 2,100.4 करोड़ रुपये हो गया, जो इससे पिछले वित्त वर्ष की समान तिमाही में 1,405.6 करोड़ रुपये था। एयरलाइन को चालू वित्त वर्ष की पहली तिमाही में 729 करोड़ रुपये का शुद्ध घाटा हुआ था।
ग्रासिम इंडस्ट्रीज
आदित्य बिड़ला समूह की कंपनी ग्रासिम इंडस्ट्रीज का चालू वित्त वर्ष की सितंबर में समाप्त दूसरी तिमाही का एकीकृत शुद्ध लाभ 27.36 प्रतिशत बढ़कर 2,032.41 करोड़ रुपये पर पहुंच गया। इससे पिछले वित्त वर्ष की समान तिमाही में कंपनी ने 1,595.85 करोड़ रुपये का शुद्ध लाभ कमाया था। शेयर बाजारों को भेजी सूचना में कंपनी ने कहा कि तिमाही के दौरान उसकी परिचालन आय 25.71 प्रतिशत बढ़कर 22,564.22 करोड़ रुपये पर पहुंच गई, जो एक साल पहले समान तिमाही में 17,949.53 करोड़ रुपये थी। तिमाही के दौरान कंपनी का खर्च 24.16 प्रतिशत बढ़कर 15,998.90 करोड़ रुपये से 19,863.82 करोड़ रुपये पर पहुंच गया।