नई दिल्ली। जीएसटी परिषद की शनिवार को होने वाली बैठक में सरलीकृत बिक्री रिटर्न जीएसटीआर-3 बी भरने के लिए समयसीमा तीन महीने जून तक बढ़ाई जा सकती है। वित्त मंत्री अरुण जेटली की अध्यक्षता में परिषद माल एवं सेवा कर (जीएसटी) के अंतर्गत पंजीकृत कंपनियों के लिए सरल रिटर्न फाइलिंग प्रक्रिया को अंतिम रूप दे सकती है। परिषद में राज्यों के वित्त मंत्री शामिल हैं।
एक अधिकारी ने बताया कि परिषद अगर सहमत होती है तो नई रिटर्न फाइलिंग प्रणाली को लागू होने में तीन महीने का समय लग सकता है। तबतक जीएसटी-3 बी जारी रह सकता है। जीएसटी परिषद की 26वीं बैठक10 मार्च को प्रस्तावित है।
माल एवं सेवा कर लागू होने के साथ सरल बिक्री रिटर्न जीएसटीआर-3 बी जुलाई में पेश किया गया था। इसका मकसद कंपनियों को जीएसटी क्रियान्वयन के शुरूआती महीनों में रिर्टन फाइल करने को आसान बनाना था। इसके बाद अंतिम रिटर्न जीएसटीआर-1, 2 और 3 लागू किया गया।
कंपनियों को अंतिम रिटर्न भरते समय बिलों के मिलान में कठिनाई के साथ जीएसटीएन प्रणाली में जटिलता को देखते हुए जीएसटी परिषद ने पिछले साल नवंबर में जीएसटीआर-3 बी भरने का समय बढ़ाकर मार्च 2018 तक कर दिया और खरीद रिटर्न जीएसटी-2 तथा अंतिम रिटर्न 3 के उपयोग को छोड़ दिया। अधिकारी ने कहा कि जीएसटी-3 बी फाइलिंग व्यवस्था स्थिर हो गई है और कंपनियां इसको लेकर सहज हैं। इसीलिए कंपनियां 3बी के जरिये तबतक कर का भुगतान कर सकती हैं जबतक नई रिटर्न फाइलिंग व्यवस्था नहीं आ जाती। शुरुआती जीएसटी-3 बी रिटर्न भरने की अंतिम तिथि संबंधित महीने के अगले माह की 20 तारीख है।