नई दिल्ली| ऑटो एलपीजी (लिक्वीफाइड पेट्रोलियम गैस) हितधारकों के उद्योग संगठन - भारतीय ऑटो एलपीजी गठबंधन (Indian Auto LPG Coalition) ने सरकार से आग्रह किया है कि वह ऑटोमोबाइल के लिए केवल इलेक्ट्रिसिटी मोबिलिटी पर ध्यान केंद्रित करने के बजाए दूसरे कई स्वच्छ वैकल्पिक ईंधन को बढ़ावा दे। अमेरिकी राज्य टेक्सस में हाल ही में पावर ग्रिड फेल हो जाने की घटना का हवाला देते हुए उद्योग निकाय ने एक बयान में कहा कि इस घटना ने 'ऑल-इलेक्ट्रिक फ्यूचर' के खतरों को लेकर फिर चिंता बढ़ा दी है।
एसोसिएशन ने आगे कहा कि भारत के लिए, जो संपूर्ण रूप से इलेक्ट्रिक वाहनों की योजना बना रहा है, टेक्सस की घटना ने केवल विद्युत गतिशीलता पर ध्यान केंद्रित करने के बजाए कई स्वच्छ वैकल्पिक ईंधन को बढ़ावा देने की आवश्यकता की याद दिलाई है। इसने कहा कि बिजली की खराबी और ग्रिड की गड़बड़ी का खतरा दुनिया भर में वास्तविक है और यह एक रणनीति की व्यवहार्यता पर सवाल उठाता है जो सभी परिवहन समाधानों को बिजली पर केंद्रित कर देता है। भारतीय ऑटो एलपीजी गठबंधन के महानिदेशक सुयश गुप्ता ने कहा कि जलवायु परिवर्तन का असर आज पूरी दुनिया में देखा जा सकता है। दुनिया भर में बदलते मौसम की घटनाओं से यह स्पष्ट है। टेक्सस की हाड़-कंपाने वाली सर्दी हो, या उत्तराखंड की ताजा आपदा हो या मुन्नार में सर्दी का बदलता स्वभाव - हर जगह जलवायु परिवर्तन का असर देखने को मिल रहा है।
उन्होंने कहा कि भारत को अपनी दीर्घकालिक ऊर्जा नीतियों की योजना बनाते समय इसे ध्यान में रखना चाहिए। इस तरह के परिदृश्य में स्वच्छ वैकल्पिक ईंधन में निवेश करना चाहिए। ऑटो एलपीजी जैसे ईंधन एक अधिक व्यवहार्य दीर्घकालिक रणनीति है।