कराची। चीन में कोरोना वायरस (कोविड-19) के कारण आर्थिक तबाही की आशंकाओं के बीच सोने की चमक बढ़ गई है। नोवेल कोरोना वायरस ने चीन की अर्थव्यवस्था पर नकारात्मक प्रभाव डाला है। इस घातक वायरस की वजह से केवल चीन की अर्थव्यवस्था पर ही विपरीत प्रभाव नहीं पड़ा है, बल्कि इसका असर अन्य देशों में भी देखने को मिल रहा है। कोरोना वायरस के घातक प्रकोप के चलते पीली धातुओं के प्रति निवेशकों का आकर्षण बढ़ने से सोने का भाव रिकॉर्ड स्तर पर पहुंच गया है।
इस बीच पाकिस्तान में बीते शुक्रवार को पीली धातु यानी सोने की कीमत अपने उच्चतम स्तर 93,650 रुपए प्रति तोला (11.66 ग्राम) पर पहुंच गई। पाकिस्तानी वेबसाइट के मुताबिक, पाकिस्तान में आज यानी 23 फरवरी, 2020 को 24 कैरेट सोने के प्रति तोला भाव 94,300 रुपए जबकि 22 कैरेट 10 ग्राम सोने का भाव 74110 रुपए नवीनतम अपडेट है।
बता दें कि, बीते शुक्रवार को सोने का भाव अंतर्राष्ट्रीय बाजार में सात साल की ऊंचाई पर चला गया। भारत में एक नया रिकॉर्ड बनाते हुए शुक्रवार को देश के सबसे बड़े वायदा बाजार मल्टी कमोडिटी एक्सचेंज (एमसीएक्स) पर सोने का भाव 42,790 रुपए प्रति 10 ग्राम तक उछला जोकि अब तक का रिकॉर्ड स्तर है जबकि अंतर्राष्ट्रीय वायदा बाजार कॉमेक्स पर सोने का भाव 1,651.85 डॉलर प्रति औंस तक उछला जोकि फरवरी 2013 के बाद का सबसे ऊंचा स्तर है।
द एक्सप्रेस ट्रिब्यून की रिपोर्ट के अनुसार, चीन में घातक कोरोना वायरस के प्रकोप के बाद निवेशकों ने इस कीमती धातु में रुपये निवेश किए हैं। ऑल सिंध सर्राफ एंड ज्वेलर्स एसोसिएशन का कहना है कि सोने को निवेश का एक सुरक्षित माध्यम माना जाता है, जोकि हाल में 23 डॉलर के उछाल के साथ वैश्विक बाजार में सात साल के उच्च स्तर 1,635 डॉलर प्रति औंस (31.10 ग्राम) पर पहुंच गया है।
चीन में कोरोना वायरस से मरने वालों की संख्या 2,200 से अधिक हो चुकी है। वहीं 75,000 से अधिक लोग इस वायरस से संक्रमित हो चुके हैं। अब तो यह जानलेवा वायरस दो दर्जन देशों में फैल गया है। रेज कमोडिटीज के पूर्व मुख्य परिचालन अधिकारी अदनान अगर ने द एक्सप्रेस ट्रिब्यून को बताया, "कोरोना वायरस के प्रसार से वैश्विक अर्थव्यवस्था बुरी तरह से प्रभावित होने की आशंका है।"
उन्होंने कहा, "वायरस के प्रसार के रुकने तक सोने के मूल्यों में तेजी बने रहने की संभावना है। अगर दुनिया वायरस को नियंत्रित करने में विफल रहती है तो सोना 1,700 से 1,800 डॉलर प्रति औंस तक पहुंच सकता है।" वायरस का प्रकोप झेल रहे दुनिया की दूसरी सबसे बड़ी अर्थव्यवस्था चीन में आर्थिक गतिविधि पर विपरीत असर पड़ा है। अदनान ने कहा, "वायरस के फैलने के बाद से चीन में अनुमानित 70-80 फीसदी उत्पादन क्षमता बंद है।"
विश्व अर्थव्यवस्था पर वायरस के प्रभाव के कारण वैश्विक शेयर बाजार, विशेष रूप से चीन और अमेरिका का शेयर बाजार गिरावट की ओर हैं। अदनान ने कहा, "चीन की अर्थव्यवस्था, जो हाल के वर्षों में लगभग छह फीसदी बढ़ी, उत्पादन बंद होने के कारण इस वर्ष 3.5 फीसदी तक धीमी होने की आशंका है।"