नई दिल्ली। फ्रांस के वित्त एवं लोक लेखा मंत्री माइकल सापिन ने आज कहा कि फ्रांसिसी कंपनियों ने भारत में अरबों डॉलर का निवेश किया और उन्हें उम्मीद है कि अगले पांच साल में ये कंपनियां 10 अरब डॉलर से अधिक का और निवेश करेंगी।
उद्योग मंडल फिक्की द्वारा आयोजित भारत-फ्रांस व्यापार सत्र में सापिन ने कहा, पिछले पांच साल में फ्रांसिसी कंपनियों ने प्रति वर्ष एक अरब डॉलर का निवेश किया और हमारा अनुमान है कि वे अगले पांच साल में कम-से-कम 10 अरब डॉलर निवेश करेंगी। उन्होंने कहा कि देश में स्थापित सौर ऊर्जा क्षमता में फ्रांस की कंपनियों की हिस्सेदारी 10 फीसदी है और 2020-22 तक वे अतिरिक्त क्षमता जोड़ सकती हैं। सापिन ने कहा कि भारत में 20 अरब डॉलर के निवेश के साथ फ्रांस तीसरा सबसे बड़ा विदेशी निवेशक हैं और 400 से अधिक कंपनियां यहां काम कर रही हैं, जिनका एकीकृत कारोबार 20 अरब डॉलर से अधिक है।
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उन्होंने कहा, ज्यादातर निवेशक औद्योगिक क्षेत्र में हैं। यह बताता है कि फ्रांस प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के मेक इन इंडिया कार्यक्रम में बड़ी भूमिका निभा रहा है। यह भारत सरकार के अन्य कार्यक्रमों में भी देखा जा सकता है। मंत्री ने कहा कि फ्रांस ने फ्रेंच डेवलपमेंट एजेंसी को कुल वित्तीय व्यय का 60 फीसदी भारत के लिए निर्धारित करने का निर्देश दिया है। एजेंसी 70 देशों में काम कर रही है और विकास के लिए वित्त देती हैं। 2014 में उसने दुनिया भर में विभिन्न परियोजनाओं के लिए 8.1 अरब यूरो की प्रतिबद्धता जताई थी।