नई दिल्ली। सरकार ने मंगलवार को उपभोक्ताओं को सलाह दी है कि वह धनतेरस और दीपावली त्योहार के शुभ अवसर पर केवल हॉलमार्क वाले स्वर्ण आभूषणों की ही खरीदारी करें। एक अधिकारिक विज्ञप्ति में भारतीय मानक ब्यूरो (बीआईएस) और उपभोक्ता मामलों के विभाग ने लोगों से बीआईएस पंजीकृत ज्वेलर्स से हॉलमार्क्ड गोल्ड ज्वेलरी/सिल्वर ज्वेलरी खरीदने का आग्रह किया है।
उपभोक्ताओं को यह भी सलाह दी गई है कि यदि नंगी आखों से हॉलमार्क का निशान साफ तौर पर नहीं दिखाई दे रहा हो तो ज्वेलर्स से मैग्नीफाइंग ग्लास की मांग करें और उसकी अच्छी तरह से जांच करें। 23 जून, 2021 से 14, 18 और 22 कैरेट स्वर्ण आभूषणों और कलाकृतियों के लिए देश के 256 जिलों में हॉलमार्किंग को अनिवार्य रूप से लागू किया जा चुका है। ये 256 जिले वह जिले हैं, जहां कम से कम एक असेइंग और हॉलमार्किंग सेंटर है।
हॉलमार्क्ड ज्वेलरी को केवल बीआईएस-रजिस्टर्ड ज्वेलर्स द्वारा ही बेचा जा सकता है। सरकार ने उपभोक्ताओं से यह भी आग्रह किया है कि ज्वेलर्स से अपनी हर खरीदारी के लिए बिल अवश्य मांगें। बयान में कहा गया है कि हॉलमार्क ज्वेलरी की बिक्री के बिल या इनवॉइस में अलग से प्रत्येक उत्पाद की अलग से जानकारी होगी, जिसमें कीमती धातु का शुद्ध वजन, कैरेट में शुद्धता और फाइननेस एवं हॉलमार्किंग शुल्क का उल्लेख होगा।
हॉलमार्किंग गोल्ड ज्वेलरी पर तीन निशान होंगे, जिसमें बीआईएस मार्क, शुद्धता कैरेट में और गोल्ड के लिए फाइननेस (उदाहरण 22के916, 18के750, 14के585) और छह अंकों का अल्फान्यूमेरिक एचयूआईडी कोड होगा।
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