वॉशिंगटन। अंतरराष्ट्रीय मुद्रा कोष (आईएमएफ) का यूरोप के वित्तीय संकट के दौरान नेतृत्व करने वाली क्रिस्टिन लेगार्ड को पांच साल के लिए दूसरी बार आईएमएफ का प्रबंध निदेशक नियुक्त किया गया है। वह निर्विरोध इस पद के लिए चुनी गईं। लेगार्ड ने यूरोप में वित्तीय संकट के दौरान आईएमएफ का नेतृत्व किया है।
आईएमएफ के कार्यकारी निदेशक मंडल ने कल ही 60 वर्षीय लेगार्ड को पांच साल की अवधि के लिए दूसरी बार आईएमएफ का प्रबंध निदेशक चुना है। उनका यह दूसरा कार्यकाल 5 जुलाई 2016 से शुरू होगा। बोर्ड ने आम सहमति से यह फैसला किया है। आईएमएफ निदेशक मंडल ने जनवरी में जब प्रबंध निदेशक पद के लिए चुनाव की प्रक्रिया शुरू की तो फ्रांस की इस पूर्व वित्त मंत्री को कोष के कई शक्तिशाली सदस्यों का पहले ही समर्थन मिल गया था और उनके लिए दूसरे कार्यकाल की दावेदारी पक्की हो गई थी।
निदेशक मंडल के प्रमुख अलेक्स मोजहिन ने कहा कि इस चयन के वक्त बोर्ड ने लेगार्ड के पहले कार्यकाल में उनकी मजबूत और बुद्धिमता पूर्ण नेतृत्व का ध्यान रखा है। वैश्विक आर्थिक मंदी के संकट के दौरान लेगार्ड ने अपने सदस्यों को फंड उपलब्ध करवाकर उनका सहयोग किया और उन्हें पॉलिसी एडवाइस, कैपेसिटी बिल्डिंग और फाइनेंशिंग भी दी।
लेगार्ड ने 2011 के मध्य में आईएफएफ के वर्तमान एमडी डोमनिक स्ट्रॉस पर बलात्कार का आरोप लगने और न्यूयॉर्क में गिरफ्तार होने के बाद एमडी का पद संभाला था। 2011 में आईएमएफ का एमडी बनने से पहले लेगार्ड एक एंटी ट्रस्ट और लेबर वकील थीं। उन्होंने इंटरनेशनल लॉ फर्म बेकर एंड मैकेन्जी में पार्टनर के तौर पर भी काम किया, जहां वह 1999 में ग्लोबल एग्जीक्यूटिव कमेटी की चेयरमैन बनी। वह 2005 तक ग्लोबल स्ट्रेटजिक कमेटी की चेयरमैन रहीं और जून 2005 में उन्हें फ्रांस के मंत्रीमंडल में शामिल किया गया। लेगार्ड ने इंस्टीट्यूट ऑफ पॉलीटिकल स्टडीज और लॉन स्कूल ऑफ पैरिस एक्स यूनिवर्सिटी से डिग्री हासिल की है। लेगार्ड आईएमफ प्रमुख बनने वाली पहली महिला हैं और आईएमएफ की स्थापना 1944 में की गई थी।