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एशियन इंफ्रास्‍ट्रक्‍चर इन्‍वेस्‍टमेंट बैंक 16 जनवरी से होगा शुरू, चीन और भारत समेत 56 देश हैं इसके सदस्‍य

चीन समर्थित एशियन इंफ्रास्ट्रक्चर इन्‍वेस्‍टमेंट बैंक (एआईआईबी) 16 जनवरी से अपना कामकाज शुरू करेगा।

Abhishek Shrivastava
Updated : January 09, 2016 13:23 IST
एशियन इंफ्रास्‍ट्रक्‍चर इन्‍वेस्‍टमेंट बैंक 16 जनवरी से होगा शुरू, चीन और भारत समेत 56 देश हैं इसके सदस्‍य
एशियन इंफ्रास्‍ट्रक्‍चर इन्‍वेस्‍टमेंट बैंक 16 जनवरी से होगा शुरू, चीन और भारत समेत 56 देश हैं इसके सदस्‍य

बीजिंग। चीन समर्थित एशियन इंफ्रास्ट्रक्चर इन्‍वेस्‍टमेंट बैंक (एआईआईबी) 16 जनवरी से अपना कामकाज शुरू करेगा। भारत और 56 अन्य एशियाई देश इसके संस्थापक सदस्य हैं। चीन के विदेश मंत्रालय के प्रवक्ता ने इसकी घोषणा की है। सौ अरब डॉलर की अधिकृत पूंजी के साथ एआईआईबी को विश्वबैंक तथा एशियाई विकास बैंक (एडीबी) के संभावित प्रतिद्वंद्वी इकाई के रूप में देखा जा रहा है। कानूनी रूप से इसकी स्थापना 10 दिन पहले 25 दिसंबर को हुई।

विदेश मंत्रालय के प्रवक्ता हुआ चिनयिंग ने कहा कि चीन के राष्ट्रपति शी जिनपिंग तथा प्रधानमंत्री ली क्विंग बैंक के उद्घाटन के मौके पर आयोजित कार्यक्रम में भाग लेंगे। बैंक का मुख्यालय बीजिंग में हैं और इसके 57 देश सदस्य हैं। भारतीय अधिकारियों ने कहा कि भारत के एक वरिष्ठ अधिकारी एआईआईबी के उद्घाटन समारोह में शामिल होंगे।

एआईआईबी एनर्जी, ट्रांसपोर्टेशन, अर्बन कंस्‍ट्रक्‍शन और लॉजिस्टिक के साथ ही एजुकेशन तथा हेल्‍थकेयर में निवेश करेगा। चीन, भारत और रूस सबसे बड़े भागीदार हैं। नए बैंक में इनकी हिस्‍सेदारी क्रमश: 30.34 फीसदी, 8.52 फीसदी और 6.66 फीसदी है। चीन ने पहले ही अपने पूर्व वित्‍त मंत्री जिन लिकन को बैंक का पहला अध्‍यक्ष नामित किया है, इसके अतिरिक्‍त ब्रिक्‍स डेवलपमेंट बैंक का प्रमुख भारतीय बैंकर केवी कामथ को बनाया गया है।

चीन का 2016 में बेहतर मौद्रिक नीति पर जोर

चीन के केंद्रीय बैंक ने एक दूरदर्शी और सूझबूझ वाली मौद्रिक नीति तैयार करने पर जोर दिया है। केंद्रीय बैंक द्वारा हाल में अपनी मुद्रा को नियंत्रित करने के तमाम प्रयास से दुनियाभर में निवेशकों में घबराहट ला दी है। चीन के नीति निर्माताओं ने सप्ताह के शुरू में अपनी मुद्रा का पिछले पांच साल के निम्न स्तर पर समायोजन किया है। पीपुल्स बैंक ऑफ चाइना ने अपनी वेबसाइट में कहा है कि अंतरराष्ट्रीय और घरेलू वित्तीय स्थिति लगातार जटिल और गंभीर बनी हुई है। बैंक सोची समझी मौद्रिक नीति को आगे बढ़ाएगा और बैंकिंग तंत्र में उचित स्तर पर पर्याप्त नकदी बनाए रखेगा। केंद्रीय बैंक ने गुरुवार को ही अपनी मुद्रा युआन की विनिमय दर का अमेरिकी डॉलर के समक्ष 0.51 फीसदी अवमूल्यन कर इसे 6.5646 युआन प्रति डॉलर कर दिया। मार्च 2011 के बाद यह इसका सबसे निम्न स्तर है।

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