नई दिल्ली। सार्वजनिक क्षेत्र की दूरसंचार कंपनी भारत संचार निगम लिमिटेड (बीएसएनएल) ने कहा कि उसने अपने कर्मचारियों के जुलाई माह का वेतन जारी कर दिया है। बीएसएनएल के चेयरमैन एवं प्रबंध निदेशक पी के पुरवार ने कहा कि कंपनी ने वेतन अपने आंतरिक संसाधनों से जारी किया गया है।
बीएसएनएल की एक कर्मचारी यूनियन ने पिछले सप्ताह दावा किया था कि कर्मचारियों को जुलाई महीने के वेतन का भुगतान तय तारीख तक नहीं किया गया है। प्रबंधन ने यह भी नहीं बताया है कि वेतन का भुगतान कब तक किया जाएगा। पुरवार ने कहा कि कर्मचारियों का वेतन पांच अगस्त को जारी किया गया है। उन्होंने कहा कि बैंकों को कर्मचारियों के वेतन के लिए कोष स्थानांतरित किया जा चुका है। सार्वजनिक क्षेत्र की दूरसंचार कंपनियां महानगर टेलीफोन निगम लि. (एमटीएनएल) और बीएसएनएल लगातार घाटा उठा रही हैं और उन्हें कर्मचारियों के वेतन का भुगतान करने में दिक्कत आ रही है।
विरोध में एमटीएनएल कर्मियों का प्रदर्शन
एमटीएनएल के हजारों कर्मचारियों ने सोमवार को दूरसंचार मंत्रालय के बाहर विरोध प्रदर्शन किया। ये कर्मचारी अपना दो महीने से लंबित वेतन और पेंशन जारी करने की मांग कर रहे थे। यूनियन के एक नेता ने यह जानकारी दी। एमटीएनएल एक्जिक्यूटिव्स एसोसिएशन के महासचिव वी के तोमर ने कहा कि कर्मचारी अपना वेतन जारी करने की मांग कर रहे हैं। साथ ही कर्मचारी चाहते हैं कि सरकार स्वैच्छिक सेवानिवृत्ति योजना (वीआरएस) का प्रस्ताव लाने से पहले वेतन संशोधन करे।
उन्होंने दावा किया कि सरकार और प्रबंधन की मंशा सही नहीं है। वे कर्मचारियों के वेतन का भुगतान सही समय पर नहीं कर उन्हें हतोत्साहित कर रहे हैं। फरवरी से वेतन भुगतान में विलंब हो रहा है। कर्मचारियों को जून और जुलाई का वेतन भी नहीं मिला है। उन्होंने कहा कि एमटीएनएल के 8,000 कर्मचारियों ने वेतन तत्काल जारी करने की मांग को लेकर विरोध प्रदर्शन में हिस्सा लिया। बहरहाल एमटीएनएल के एक अधिकारिक सूत्र ने कहा कि कंपनी कम से कम एक माह का वेतन इस सप्ताह के अंत तक देने का प्रयास कर रही है। एमटीएनएल में करीब 22,000 कर्मचारी हैं और मासिक वेतन पर कंपनी का खर्च करीब 160 करोड़ रुपए है।