वाशिंगटन। चीन से आयात होने वाले 16 अरब डॉलर मूल्य के सामानों पर गुरुवार से नए अमेरिकी टैरिफ लागू कर दिए गए हैं। इस कदम के जवाब में चीन ने भी इतनी ही राशि के अमेरिकी सामानों पर अतिरिक्त शुल्क लगाए हैं। सीएनबीसी न्यूज की रिपोर्ट के मुताबिक, हालिया व्यापार युद्ध में वृद्धि विश्व की दो बड़ी अर्थव्यवस्थाओं के अधिकारियों की वाशिंगटन में टैरिफ वार्ता पर बैठक के बीच हुई है।
अमेरिका ने बुधवार-गुरुवार मध्य रात्रि 12.01 बजे चीन से आयातित उत्पादों पर अतिरिक्त 25 प्रतिशत शुल्क वसूलना शुरू कर दिया है। शुल्क से प्रभावित होने वाले प्रमुख उत्पादों में सेमी कंडक्टर, रसायन, प्लास्टिक, मोटरबाइक और इलेक्ट्रिक स्कूटर शामिल हैं।
चीन ने इसका जवाब अमेरिका से आयात होने वाले 16 अरब डॉलर मूल्य के सामान पर नए टैरिफ लगाकर दिया। आयात होने वाले इन उत्पादों में ईंधन, स्टील उत्पाद, ऑटो व चिकित्सकीय उपकरण शामिल हैं।
समाचार एजेंसी सिन्हुआ ने स्टेट काउंसिल के कस्टम टैरिफ कमीशन की घोषणा के हवाले से कहा कि यह अतिरिक्त शुल्क ठीक उसी समय से लागू हुए जिस समय से अमेरिका ने अतिरिक्त शुल्क वसूलना शुरू किया।
चीन के वाणिज्य मंत्रालय ने एक बयान में कहा कि चीन अमेरिका द्वारा लागू किए गए नवीनतम टैरिफ का दृढ़ता के साथ विरोध करता है और हालिया करों के खिलाफ जवाबी कार्रवाई करेगा। बयान में कहा गया कि चीन विश्व व्यापार संगठन में अमेरिका के खिलाफ शिकायत करेगा।
यह नए अमेरिकी टैरिफ जुलाई में 34 अरब डॉलर के चीनी उत्पादों पर अतिरिक्त टैरिफ लगाए जाने के बाद लागू हुए हैं। नवीनतम अमेरिकी टैरिफ से अमेरिकी आयातकों को अतिरिक्त ऑर्डर देना पड़ा है।
सीएनबीसी के मुताबिक, राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप ने चीन की बौद्धिक संपदा प्रथाओं, औद्योगिकी सब्सिडी कार्यक्रमों और टैरिफ संरचना में बदलाव पर सहमत होने तक चीन से अमेरिका को निर्यात होने वाले सालाना 500 अरब अमरीकी डॉलर से ज्यादा की वस्तुओं पर अतिरिक्त शुल्क लागू करने की धमकी दी है। चीन ने अमेरिका के आरोपों से इनकार किया कि वह अनुचित रूप से अमेरिकी प्रौद्योगिकी हस्तांतरण के लिए बाध्य करता है।