नई दिल्ली। देश के बड़े उद्योगपति और महिंद्रा ग्रुप के चेयरमैन आनंद महिंद्रा ने एक अनोखे ‘स्टॉर्टअप’ में निवेश करने की इच्छा जताई है। ‘स्टॉर्टअप’ के जरिए जो काम किया जा रहा है वह नया नहीं है लेकिन उसने अपने काम की मार्केटिंग के लिए जो तरीका अपनाया है वह नया है और आनंद महिंद्रा उस मार्केटिंग के तरीके को देखकर ही प्रभावित हुए हैं।
आनंद महिंद्रा ने अपने ट्विटर पर जानकारी दी कि उन्हें व्हाट्सएप पर एक तस्वीर मिली जिसमें पुराने जूतों की मरम्मत करने वाले एक व्यक्ति ने अपने जूतों की मरम्मत की दुकान को ‘जख्मी जूतो का हस्पताल’ बताया है और खुद को डॉ नरसीराम का खिताब दिया हुआ है। ‘डॉ साहब’ ने जूतों की मरम्मत के लिए जर्मन तकनीक के इस्तेमाल होने का दावा भी किया है। आनंद महिंद्रा उनकी इस मार्केटिंग स्किल से प्रभावित हुए और अपने ट्विटर पर यहां तक कह दिया कि यह शख्स इंडियन इंस्टिट्यूट ऑफ मैनेजमेंट में मार्केटिंग का अध्यापक बनने के लायक है।
इसके बाद आनंद महिंद्रा ने दूसरा ट्वीट किया जिसमें उन्होंने कहा कि ‘जख्मी जूतों के हस्पताल’ की तस्वीर उन्हें व्हाट्सएप से मिली थी और उन्हें नहीं पता कि तस्वीर कहां की है, उन्होंने कहा कि अगर कोई उस तस्वीर वाले शख्स को ढूंढ सके और वह अब भी यही काम करता हो तो वह उसके इस ‘स्टॉर्टअप’ में छोटा निवेश करने के इच्छुक हैं।