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Amnesty scheme for legacy service tax, excise duty cases to open on Sep 1
नई दिल्ली। वित्त मंत्रालय ने कहा है कि सर्विस टैक्स और सेंट्रल एक्साइज ड्यूटी के पुराने विरासती मामलों को कम करने के लिए विवाद निपटान और माफी योजना एक सितंबर से चार महीने के लिए अमल में आ जाएगी। मंत्रालय ने बयान में कहा कि इस योजना सबका विश्वास - विरासत विवाद निपटान योजना, 2019 का सबसे आकर्षक पहलू यह है कि इसके तहत सभी श्रेणी के मामलों में उल्लेखनीय कर राहत दी जाएगी। साथ ही इसमें ब्याज, जुर्माने की पूरी छूट उपलब्ध होगी।
इन सभी मामलों में ब्याज, जुर्माने या हर्जाने की कोई और देनदारी नहीं होगी। इसमें अभियोजन से भी पूरी माफी मिलेगी। बयान में कहा गया है कि यह योजना एक सितंबर से 31 दिसंबर, 2019 तक लागू रहेगी। सर्विस टैक्स और सेंट्रल एक्साइज ड्यूटी से जुड़े पुराने मुकदमों में 3.75 लाख करोड़ रुपए से अधिक का राजस्व फंसा हुआ है।
वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण ने अपने बजट भाषण में इस योजना की घोषणा की थी। मंत्रालय ने कहा है कि इस योजना का मकसद मुख्य तौर पर छोटे करदाताओं को उनके लंबित पुराने कर विवादों से मुक्त करना है।
अदालतों या अपील न्यायाधीकरण में लंबित सभी मामलों के लिए इस योजना के तहत 50 लाख रुपए तक के मामले में शुल्क मांग में 70 प्रतिशत की छूट दी जाएगी, यदि शुल्क मांग 50 लाख रुपए से अधिक है तो ऐसे मामलों में छूट 50 प्रतिशत की मिलेगी।