नई दिल्ली। ई-कॉमर्स कंपनी अमेजन इंडिया ने अपनी भारतीय भुगतान इकाई अमेजन पे में 700 करोड़ रुपए की पूंजी डाली है। यह जानकारी कंपनी के नियामकीय दस्तावेजों में सामने आई है। कंपनी ने यह नया निवेश त्यौहारी मौसम से ठीक पहले किया है। त्यौहारी मौसम में कंपनी की प्रतिस्पर्धा वॉलमार्ट के नेतृत्व वाली फ्लिपकार्ट और मुकेश अंबानी के नेतृत्व वाली रिलायंस इंडस्ट्रीज की जियो मार्ट से है।
कारोबारी आसूचना मंच टॉफ्लर ने कंपनी के नियामकीय दस्तावेजों के आधार पर कहा कि अमेजन पे (इंडिया) ने मौजूदा शेयरधारक को 700,100,000 इक्विटी शेयर आवंटित कर 700.1 करोड़ रुपए का निवेश जुटाया है। अमेजन पे (इंडिया) ने ये शेयर अमेजन कॉरपोरेट होल्डिंग्स प्राइवेट लिमिटेड और अमेजन डॉट कॉम इंक लिमिटेड को आवंटित किए हैं। इस संबंध में अमेजन से कोई प्रतिक्रिया नहीं मिली है। अमेजन पे की प्रतिस्पर्धा बाजार में फ्लिपकार्ट की फोनपे, अलीबाबा की पेटीएम और गूगल की गूगल पे से है। इससे पहले जनवरी में अमेजन पे इंडिया को इन्हीं निवेशकों से 1,355 करोड़ रुपए का निवेश हासिल हुआ था।
मिनी एप डेवलपर्स के लिए पेटीएम ने की 10 करोड़ रुपए के फंड की घोषणा
गूगल के साथ जारी अपनी लड़ाई में एक कदम और आगे बढ़ाते हुए देश के अग्रणी डिजिटल पेमेंट्स प्लेटफॉर्म पेटीएम ने कहा कि वह देश के मिनी एप डेवलपर्स के लिए 10 करोड़ रुपए की राशि सुरक्षित कर रहा है। मिनी एप डेवलपर्स कांफ्रेंस को संबोधित करते हुए पेटीएम के संस्थापक विजय शंकर शर्मा ने यह बात कही। पेटीएम संस्थापक ने कहा कि वह कम से कम 10 लाख मिनी एप को टारगेट कर रहे हैं क्योंकि वह वह गूगल द्वारा अनुचित चार्ज के खिलाफ हैं।
गूगल ने बीते दिनों कहा था कि अब जितने भी डेवलपर्स उसके प्लेस्टोर के साथ जुड़ना चाहते हैं उन्हें प्लेस्टोर बिलिंग सिस्टम के साथ एकीकृत होना होगा। गूगल ने हालांकि सोमवार को कहा कि उनसे भारतीय डेवलपर्स के लिए एल्टनेटिव पेमेंट सिस्टम अपनाने की समय सीमा बढ़ा दी है और अब वे 31 मार्च, 2022 तक प्ले स्टोर बिलिंग सिस्टम के साथ एकीकृत हो सकते हैं। उल्लेखनीय है कि गूगल द्वारा अपने प्ले स्टोर से हटाए जाने से आहत पेटीएम ने सोमवार को स्थानीय एप डेवलपर्स को मदद पहुंचाने और उनकी नवीन सोच को लोगों तक पहुंचाने के मकसद से एक एंड्रायड मिनी एप स्टोर लॉन्च किया था।
पेटीएम ने कहा था कि वह नई मिनी एप्स की लिस्टिंग और डिस्ट्रीब्यूशन का काम अपने एप के माध्यम से करेगा और इसके लिए कोई भुगतान नहीं करना होगा। पेमेंट के लिए डेवलपर्स अपने यूजर्स को पेटीएम वॉलेट, पेटीएम पेमेंट्स बैंक, यूपीआई, नेट बैंकिंग और कार्ड्स का ऑप्शन दे सकते हैं।