Monday, January 06, 2025
Advertisement
  1. Hindi News
  2. पैसा
  3. बिज़नेस
  4. हवाई अड्डों की पूंजीगत लागत की संभावित सीमा तय करने पर विचार

हवाई अड्डों की पूंजीगत लागत की संभावित सीमा तय करने पर विचार

हवाई अड्डा दर नियामक एरा ने हवाई अड्डा परिचालकों द्वारा किए जाने वाले पूंजीगत खर्च की संभावित सीमा का प्रस्ताव लेकर आया है।

Abhishek Shrivastava
Published : June 14, 2016 19:13 IST
हवाई अड्डों की पूंजीगत लागत की संभावित सीमा तय करने पर विचार, शुल्‍क की सीमा होगी तय
हवाई अड्डों की पूंजीगत लागत की संभावित सीमा तय करने पर विचार, शुल्‍क की सीमा होगी तय

नई दिल्ली: हवाई अड्डा दर नियामक एरा हवाई अड्डा परिचालकों द्वारा किए जाने वाले पूंजीगत खर्च की संभावित सीमा का प्रस्ताव लेकर आया है। हवाई अड्डा आर्थिक नियामक प्राधिकरण (एरा) का इसके पीछे मकसद प्रयोगकर्ताओं द्वारा वसूले जाने वाले शुल्क का उचित बेंचमार्क तय करना और खर्चों को संभावित तौर पर बढ़ाचढ़ाकर दिखाने से रोकना है।

यह कदम ऐसे समय उठाया गया है, जबकि सरकार की योजना और हवाई अड्डों की स्थापना करने और उनका पुनरोद्धार करने की है, जिससे क्षेत्रीय संपर्क को प्रोत्साहन दिया जा सके। चालू वित्त वर्ष में कुल 25 क्षेत्रीय हवाई अड्डों का विकास किया जाना है। एरा ने हवाई अड्डा परिचालकों से उनके द्वारा जमा कराई गई लागत के बारे में सूचना पर पुन: विचार करने और संभावित सीमा से ऊपर हुई बढ़ोतरी का आधार बताने को कहा है। नियामक ने टर्मिनल बिल्डिंग के लिए 65,000 रुपए प्रति वर्ग फुट तथा रनवे-टैक्सीवे-एपरन आदि के लिए 4,700 रुपए प्रति वर्ग फुट की संभावित सीमा तय की है।

यह सीमा उस समय तक लागू रहेगी, जब तक अधिक बेहतर प्रक्रिया से पूंजीगत लागत पर फैसले करने के नियम को अंतिम रूप नहीं दिया जाता। यह संभावित सीमा कोचिन इंटरनेशनल एयरपोर्ट लि. (सीआईएएल) की लागत के आधार पर तय की गई है। सीआईएएल केरल में कोचिन हवाईअड्डे का परिचालन करती है।

यह भी पढ़ें- छोटे शहरों में भी होगी एयर कनेक्टिविटी, सरकार 25 रीजनल एयरपोर्ट का करेगी विकास

यह भी पढ़ें- हवाई यात्रियों को बड़ी राहत, IGI एयरपोर्ट पर नहीं भरनी होगी एयरपोर्ट डेवलपमेंट फीस

Latest Business News

India TV पर हिंदी में ब्रेकिंग न्यूज़ Hindi News देश-विदेश की ताजा खबर, लाइव न्यूज अपडेट और स्‍पेशल स्‍टोरी पढ़ें और अपने आप को रखें अप-टू-डेट। Business News in Hindi के लिए क्लिक करें पैसा सेक्‍शन

Advertisement
Advertisement
Advertisement