Sunday, November 03, 2024
Advertisement
  1. Hindi News
  2. पैसा
  3. बिज़नेस
  4. भारत में 90 फीसदी स्टार्टअप पहले पांच सालों में ही हुए बंद : IBM

भारत में 90 फीसदी स्टार्टअप पहले पांच सालों में ही हुए बंद : IBM

इनोवेशन और पैसों की कमी के कारण भारत के 90 फीसदी से ज्यादा स्टार्टअप पहले पांच सालों में ही बंद हो जाते हैं। IBM ने एक अध्ययन में यह जानकारी दी है।

Manish Mishra
Published on: May 18, 2017 8:56 IST
भारत में 90 फीसदी स्टार्टअप पहले पांच सालों में ही हुए बंद : IBM- India TV Paisa
भारत में 90 फीसदी स्टार्टअप पहले पांच सालों में ही हुए बंद : IBM

नई दिल्ली। इनोवेशन और पैसों की कमी के कारण भारत के 90 फीसदी से ज्यादा स्टार्टअप पहले पांच सालों में ही बंद हो जाते हैं। सॉफ्टवेयर दिग्गज IBM ने एक अध्ययन में यह जानकारी दी है। IBM के इस अध्‍ययन में बताया गया कि देश के स्टार्टअप को शुरुआत और बंद करने के दौरान दोनों ही चरणों में वित्त की कमी से जूझना पड़ता है, जबकि दुनिया की सफल स्टार्टअप पारिस्थितिकी तंत्र में ऐसा नहीं होता और उन्हें निवेशक समुदाय से हर कदम पर समर्थन मिलता है।

यह भी पढ़ें :आधार के बिना अब नहीं मिलेगा सिम कार्ड, ब्रॉडबैंड कनेक्‍शन और लैंडलाइन फोन, TRAI ने जारी किए दिशानिर्देश

IBM भारत/दक्षिण एशिया के मुख्य डिजिटल अधिकारी निपुन मेहरोत्रा ने एक बयान में कहा कि,

हमारा मानना है कि स्टार्टअप को स्वास्थ्य देखभाल, स्वच्छता, शिक्षा, परिवहन, वैकल्पिक ऊर्जा प्रबंधन और अन्य सामाजिक समस्याओं पर ध्यान देने की जरूरत है, जो कि उन मुद्दों से निपटने में मदद करेगी जिसका भारत समेत पुरी दुनिया सामना कर रही है।

यह भी पढ़ें :सस्‍ता कार लोन लेने का ये है बेस्‍ट तरीका, पसंदीदा कार का सौदा भी पड़ेगा सस्‍ता

भारत के 76 फीसदी से भी अधिक अधिकारियों ने देश की अर्थव्यवस्था में खुलेपन को आर्थिक लाभ के रूप में देखा, जबकि 60 फीसदी ने कुशल श्रमिकों की पहचान की और 57 फीसदी अधिकारियों का कहना था कि बड़ा घरेलू बाजार होने के महत्वपूर्ण फायदे हैं। सर्वेक्षण में शामिल 73 फीसदी उद्योग नेतृत्व का मानना है कि पारिस्थितिकी तंत्र स्टार्टअप में तेजी ला सकती है।

Latest Business News

India TV पर हिंदी में ब्रेकिंग न्यूज़ Hindi News देश-विदेश की ताजा खबर, लाइव न्यूज अपडेट और स्‍पेशल स्‍टोरी पढ़ें और अपने आप को रखें अप-टू-डेट। Business News in Hindi के लिए क्लिक करें पैसा सेक्‍शन

Advertisement
Advertisement
Advertisement