हाल के सालों में ऑटो निर्माता अपनी कारों को सबसे सुविधाजनक और आरामदायक ड्राइव बनाने की पूरी कोशिश कर रहे हैं। पिछले कुछ सालों में जो कार आ रही है उनमें पुश-बटन स्टार्ट मिल रहा है। आज हम इसी पुश बटन के बारे में बात करेंगे कि इसके क्या फायदे और नुकसान है, लेकिन उससे पहले जानते हैं कि पुश स्टार्ट बटन कैसे काम करता है।
कैसे काम करता है पुश स्टार्ट बटन
पुश स्टार्ट इग्निशन "की-लेस" इग्निशन सिस्टम का उपयोग करके काम करता है। इस तरह की टेक्नोलॉजी एक मॉडल से दूसरे मॉडल में अलग होती है, लेकिन वे ट्रेडिशनल कीज को Key फॉब के साथ बदलकर लेकिन उसी तरह काम करती हैं। एक की फॉब छोटा हैंडहेल्ड रिमोट कंट्रोल डिवाइस है जो रिमोट कीलेस एंट्री सिस्टम को कंट्रोल करता है।
इस Key फॉब में एक यूनीक ट्रांसमीटर है जो केवल आपकी कार के लिए लॉ-फ्रीक्वेंसी सिग्नल मैसेज भेजता है। यह आपकी अपनी आईडी सिस्टम की तरह है, इसलिए एक Key फोब अन्य कारों के साथ काम नहीं करेगा। आपको अपनी कार शुरू करते समय की फॉब की आवश्यकता होती है, क्योंकि इंजन शुरू करने से पहले आपकी कार का कंप्यूटर इसकी फ्रीक्वेंसी का पता लगाने में सक्षम होना चाहिए।
सबसे पहले जानते हैं कि पुश स्टार्ट बटन के क्या फायदे हैं?
- कार को लॉक, अनलॉक और स्टार्ट करते समय स्मार्ट चाबी गाड़ी के मालिक अपनी जेब या पर्स में रख सकते हैं। इसका ये कारण है कि कार में ये स्मार्ट की सेंसर के साथ सीधे कम्यूनिकेट करते हैं।
- टेक्नोलॉजी कार मालिकों के लिए रिमोट स्टार्ट की कन्वीनियंस अलाव देती है, जो कार को गर्म करने का एक अच्छा तरीका हो सकता है।
- पुश-बटन-स्टार्ट फोब्स कार दुर्घटनाओं की संभावना को कम करते हैं क्योंकि जब तक आप ब्रेक पर अपना पैर नहीं रखेंगे तब तक आपका इंजन शुरू नहीं होगा।
पुश स्टार्ट बटन का क्या नुकसान है?
- ट्रेडिशनल चाबियों की तुलना में पुश स्टार्ट बटन बहुत अधिक महंगा है। इसलिए इसे हर वर्ग के लोग इसे अफोर्ड नहीं कर सकता है।
- कुछ ड्राइवरों को ठीक से पता नहीं है कि पुश-बटन इग्निशन वाले वाहनों को कैसे बंद किया जाए, जिससे लोग उन्हें बंद करना भूल जाते हैं और कार से बाहर निकलने से पहले कार को ऑन कर "पार्किंग" में छोड़ देते हैं।