महाराष्ट्र के नांदेड़ में सरकारी अस्पताल में दवाओं के अभाव में मरीजों की मौत पर विवाद जारी है। राज्य के मुख्यमंत्री एकनाथ शिंदे ने इस मामले में जांच और कार्रवाई का भरोसा दिया है तो वहीं, विपक्षी दल इसे सरकार की बड़ी नाकामी बता रहे हैं। वहीं, अब सचखंड गुरुद्वारा बोर्ड, नांदेड़ अस्पताल की मदद के लिए आगे आया है। गुरुद्वारे ने कहा है कि जितनी दवाइयां लगेगी कलेक्टर लिस्ट दें, गुरुद्वारा सभी दवाइयां तुरंत प्रोवाइड करेगा।
मानवता के लिए सेवा
गुरुद्वारा बोर्ड के अध्यक्ष सरदार डॉ. विजय सतबीर सिंह ने इस मामले में नांदेड़ के कलेक्टर अभिजीत राऊत से संपर्क किया है। उन्होंने कहा कि अस्पताल की स्थिति गंभीर है। इसलिए गुरुद्वारा मानवता की सेवा के रूप में सेवा देने के लिए तैयार है। अस्पताल की आवश्यकता के अनुसार दवाएं उपलब्ध करायी जाएंगी। उन्होंने कहा कि अस्पताल की मांग के अनुसार चिकित्सा सामाग्री व जरूरी दवाएं उपलब्ध कराई जाएगी।
नवजातों की भी मौत
महाराष्ट्र के नांदेड़ स्थित डॉ. शंकरराव चव्हाण मेडिकल कॉलेज एवं अस्पताल में सबसे पहले सोमवार को 24 घंटे में 24 मरीजों की मौत का मामला सामने आया था। इनमें 12 नवजात भी शामिल थे। अब तक अस्पताल में मरने वालों की संख्या 30 से अधिक पहुंच गई है। मामले में आरोप लग रहे हैं कि दवाओं की कमी के कारण ये सभी मौतें हुई हैं।
सुप्रिया सुले भड़कीं
नांदेड़ अस्पताल में मौत मामले पर एनसीपी सांसद सुप्रिया सुले भड़क गई हैं। उन्होंने कहा कि महाराष्ट्र सरकार के पास ईडी या सीबीआई का इस्तेमाल कर पार्टियों को तोड़ने के लिए पैसे हैं लेकिन आम जनता के स्वास्थ्य के लिए पैसे नहीं हैं। कुछ दवाएं ऐसी हैं जिनके बिल नहीं थे, सरकार द्वारा समय पर भुगतान नहीं किया गया, जिसके कारण नयी दवायें नहीं मिल पा रही हैं।
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