Highlights
- हम अगले विधानसभा चुनाव में 288 में से 200 सीटें जीतकर दोबारा सरकार बनाएंगे
- मैंने हर साल छुट्टियों के लिए कभी भी विदेश यात्रा नहीं की - शिंदे
- मेरे दिमाग में केवल शिवसेना और उसके विकास की बातें थीं - शिंदे
Maharashtra News: महाराष्ट्र में हुई सियासी उठापटक के बाद शिंदे सरकार को एक महीना पूरा हो चुका है। लेकिन इसके बाद भी राजनीति थमने का नाम नहीं ले रही है। शिवसेना के दो गुट हो चुके हैं। तमाम विधायक और सांसद शिंदे गुट में शमिल हो चुके हैं। वहीं उद्धव ठाकरे गुट में कुछ चुनिंदा विधायक और सांसद ही रह गए हैं। दोनों गुट एक-दूसरे पर आरोप पर आरोप लगा रहे हैं।
अभी तक दोनों गुट एक-दूसरे पर सीधा हमला करने से बच रहे थे। लेकिन अब ऐसा नहीं रहा है। महाराष्ट्र के मुख्यमंत्री एकनाथ शिंदे ने शिवसेना नेता उद्धव ठाकरे को परोक्ष रूप से चेतावनी देते हुए कहा कि अगर उन्होंने बोलना शुरू किया तो "भूकंप" आ जाएगा। उन्होंने कहा, "अगर मैं इंटरव्यू देना शुरू कर दूंगा तो भूकंप आ जाएगा। कुछ लोगों के विपरीत मैंने हर साल छुट्टियों के लिए कभी भी विदेश यात्रा नहीं की। मेरे दिमाग में केवल शिवसेना और उसके विकास की बातें थीं।"
चुनावों में 200 सीटें जीतकर बनाएंगे सरकार
शिवसेना प्रमुख और पूर्व मुख्यमंत्री उद्धव ठाकरे का नाम लिए बिना शिंदे ने कहा कि उन्होंने विद्रोह कर दिया क्योंकि वह बालासाहेब ठाकरे की विरासत की रक्षा करना चाहते थे। बालासाहेब की विचारधारा से समझौता करने वालों को आप सिर्फ मुख्यमंत्री बनने के लिए क्या कहते हैं? इसके साथ ही एकनाथ शिंदे ने सवाल पूछते हुए कहा कि, "जब शिवसेना ने भाजपा के साथ गठबंधन में चुनाव लड़ा था तो कांग्रेस और राकांपा के साथ सरकार कैसे बनाई? क्या यह विश्वासघात नहीं है? उन्होंने कहा कि उनके नेतृत्व वाली शिवसेना और भाजपा अगले विधानसभा चुनाव में 288 में से 200 सीटें जीतकर दोबारा सरकार बनाएगी।
जिन्हें मैंने अपना माना वे लोग ही छोड़कर चले गए - उद्धव ठाकरे
वही इससे पहले सामना अखबार को दिए इन्टरव्यू में पूर्व मुख्यमंत्री उद्धव ठाकरे ने कहा कि, "जिन्हें मैंने अपना माना वे लोग ही छोड़कर चले गए, मतलब वे लोग कभी भी हमारे थे ही नहीं। अब उन्हें लेकर बुरा लगने की कोई वजह नहीं है।" ठाकरे ने कहा कि, आज भाजपा में बाहर से आए लोगों को सबकुछ मिल जाता है। मुख्यमंत्री पद से विरोधी पक्ष के नेता पद तक। उद्धव ठाकरे ने अपनी सरकार के प्रयोग को सही ठहराते हुए कहा कि महाविकास आघाड़ी का प्रयोग गलत नहीं था। उनके इस फैसले का महाराष्ट्र की जनता ने स्वागत किया था। और जब मैं मुख्यमंत्री आवास छोड़ रहा था तब लोग आंसू बहा रहे थे। क्या आज तक किसी भी मुख्यमंत्री को लोगों ने इतना प्यार दिया है? मेरी ताकत महाराष्ट्र की जनता है और वह हमेशा मेरे साथ रहेगी और सच्चाई का साथ देगी।