टीम इंडिया ने रोहित शर्मा की अगुवाई में टी20 वर्ल्ड कप अपने नाम कर लिया, इसे लेकर कल मुंबई वानखेड़े स्टेडियम में टीम इंडिया का ग्रैंड वेलकम किया गया। इधर महाराष्ट्र सरकार ने भी सभी खिलाड़ियों को बधाई देते हुए उन्हें महाराष्ट्र विधानसभा में स्वागत कार्यक्रम में बुलाया। पर खिलाड़ियों के पहुंचने से पहले राज्य की राजनीति में उबाल देखने को मिलने लगे हैं। विपक्ष ने महाराष्ट्र सरकार पर वर्ल्ड कप का क्रेडिट लेना का आरोप लगाया है। इसका सबसे बड़ा कारण बना स्वागत कार्यक्रम का पोस्टर, जिस पर से खिलाड़ियों की तस्वीर गायब है और वहां, मुख्यमंत्री और दोनों उपमुख्यमंत्री की फोटो लगाई गई है।
पोस्टर पर सिर्फ तीन नेताओं की तस्वीर
पूरे विधानभवन में सत्ताधारी पार्टी के विधायक प्रताप सरनाईक की तरफ से पोस्टर्स लगाए गए है। इस पोस्टर्स में भारतीय खिलाड़ियों के बजाए सिर्फ तीन नेताओं की तस्वीर लगाए गए है, जिसमें मुख्यमंत्री एकनाथ शिंदे, उपमुख्यमंत्री देवेंद्र फडणवीस और अजित पवार की फोटो लगाई गई है। पोस्टर्स में भारतीय खिलाड़ियों की तस्वीर नहीं होने से विपक्ष आगबबूला हो गया है। साथ ही सरकार पर आरोप लगाया है कि सरकार वर्ल्ड कप का क्रेडिट लेना चाहती है। इन पोस्टर के जरिए टीम इंडिया का अपमान किया गया है। विपक्ष ने सरकार से सवाल किए कि स्वागत पोस्टर में खिलाड़ियों के फोटो क्यों नहीं लगाए गए? सबको पता है कि चुनाव करीब है इसलिए श्रेय लेने की कोशिश की जा रही है।
विपक्ष उठाएगी ये मुद्दा
बता दें कि विधानसभा में आज यह मुद्दा शिवसेना(UBT) और एनसीपी(SP) उठाने वाली है। विधान भवन के सेंट्रल हॉल में आज टीम इंडिया के चार खिलाड़ी रोहित शर्मा, सूर्यकुमार यादव, यशस्वी जयसवाल का सम्मान होने वाला है। ये चारों मुंबई के खिलाड़ी है। टीम इंडिया का विक्ट्री परेड जिस बस में हुआ था वह बस गुजरात की थी। इस बस पर भी विपक्ष ने आरोप लगाया है कि बीएमसी की बेस्ट बस सर्विस का क्यों MCA ने इस्तमाल नहीं किया।
शिवसेना(UBT) के नेता ने पूछा तीखा सवाल
शिवसेना(UBT) के नेता सचिन अहिर ने कहा कि टीम इंडिया का स्वागत हो रहा है इसकी खुशी है लेकिन इन पोस्टर्स पर तस्वीर किसकी है? अगर खिलाड़ियों का स्वागत हो रहा है तो फिर इन नेताओं की तस्वीर पोस्टर पर क्यों है? जो पोस्टर लगाए गए हैं उसमें लिखा गया है कि भारतीय टीम का हार्दिक स्वागत लेकिन इस पोस्टर में भारतीय टीम कहां है? कम से कम पोस्टर में कप्तान या फिर कोच का फोटो होना चाहिए था। कम से कम खिलाड़ियों के नाम तो पोस्टर में लिख देते। क्रिकेट को नीचे लाकर अपने आप को ऊपर लाने की कोशिश सरकार कर रही है। ये सरकार राजनीति का स्तर बहुत ही निचले स्तर पर लेकर आ गई हैं। सरकार पहले ही कई मुद्दों का प्रचार कर रही है अब सम्मान कार्यक्रम का भी इस्तेमाल प्रचार के लिए कर रही है यह दुर्भाग्यपूर्ण है। टीम इंडिया की विक्ट्री परेड के लिए जो बस थी वह बस गुजरात से लानी पड़ी क्या मुंबई दर्शन की बस नहीं थी। 2007 में हमने विक्ट्री परेड के लिए बेस्ट की बस का इस्तेमाल किया था। गुजरात में इस तरह का विक्ट्री परेड निकलता तो क्या इतने लोग आते?
'वर्ल्ड कप जीतने में क्या योगदान है'
एनसीपी(SP) के विधायक रोहित पवार ने भी कहा कि पोस्टर्स पर जिन तीन नेताओं की तस्वीर है उनका वर्ल्ड कप जीतने में क्या योगदान है? इस पोस्टर में रोहित शर्मा, सूर्यकुमार यादव की तस्वीर क्यों नहीं है? टीम विधान भवन में आ रही है तो उनकी तस्वीर पोस्टर में होनी चाहिए थी। भारतीय टीम को महत्व देना चाहिए न कि उनके वर्ल्ड कप जीत पर आप सियासत करें। इस मुद्दे पर हम सदन उठाने की कोशिश करेंगे।
BJP ने दिए ये जवाब
वहीं इस आरोप पर बीजेपी के विधायक राम कदम ने कहा कि विपक्ष दुखी है कि क्योंकि आज सदन में खिलाड़ियों को बुलाकर सरकार उनका सम्मान करने वाली है। खिलाड़ियों की तस्वीर हमारे दिल में है। क्या यह सियासत का मुद्दा होना चाहिए था? जो(उद्धव ठाकरे) जर्मनी की मर्सिडीज़ गाड़ी में घूमते हैं वह अब टीम इंडिया के बस पर आलोचना करेंगे, पूछेंगे कि बस कहां की है? खुद कभी इंडियन गाड़ी में घूमते नहीं है, विदेशी गाड़ी में घूमने वाले यह ना सवाल उठाए। सरकार स्वागत कर रही है तो सरकार के प्रमुख लोगों की तस्वीर पोस्टर पर है तो आपत्ति क्यों होनी चाहिए? इनकी सोच कितनी घिनौनी है।
प्रताप सरनाईक ने कही ये बात
वहीं, इस मामले पर शिवसेना के विधायक प्रताप सरनाईक खुद सामने आए और कहा कि हमने जो पोस्टर्स लगाए है वो विपक्ष ने देखा नहीं है। अभी और पोस्टर्स आने वाले है इतनी जल्दी क्यों है विपक्ष को? बस का मुद्दा उठाकर विपक्ष सियासत करना चाह रहा है।
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