Highlights
- MVA गठबंधन के कम से कम 25 असंतुष्ट विधायक भारतीय जनता पार्टी के संपर्क में हैं: रावसाहेब दानवे
- दानवे ने कहा कि 2019 के चुनावों के बाद शिवसेना ने भारतीय जनता पार्टी की पीठ में छुरा घोंप दिया।
- मौजूदा शिवसेना बालासाहेब ठाकरे की सेना नहीं बल्कि यह उद्धव ठाकरे और अब्दुल सत्तार की सेना है: दानवे
जालना: केंद्रीय राज्य मंत्री रावसाहेब दानवे ने शुक्रवार को दावा किया कि महाराष्ट्र में सत्तारूढ़ महाविकास अघाड़ी (MVA) गठबंधन के कम से कम 25 असंतुष्ट विधायक भारतीय जनता पार्टी के संपर्क में हैं। शिवसेना के दावे के विपरीत उन्होंने यह भी कहा कि वर्ष 2019 में सीट बंटवारे की बातचीत के दौरान बीजेपी द्वारा उसे मुख्यमंत्री पद की पेशकश नहीं की गई थी। बीजेपी नेता ने जालना में संवाददाताओं से कहा, ‘MVA के कम से कम 25 विधायक हमारे संपर्क में हैं क्योंकि वे नाखुश हैं।’ हालांकि, उन्होंने विधायकों के नामों का खुलासा करने से इनकार कर दिया।
‘शिवसेना ने बीजेपी की पीठ में छुरा घोंप दिया’
बता दें कि महाराष्ट्र में एमवीए गठबंधन शिवसेना, राष्ट्रवादी कांग्रेस पार्टी और कांग्रेस को एक मंच पर लाकर बनाया गया था। महाराष्ट्र में 2019 के विधानसभा चुनावों के बाद शिवसेना के बीजेपी से अलग होने के चलते यह गठबंधन बनाया गया था। दानवे ने शिवसेना पर निशाना साधते हुए आरोप लगाया कि वह अपनी हिंदुत्ववादी विचारधारा से भटक गई है। उन्होंने कहा कि पार्टी को 2019 के चुनावों में प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के कारण वोट मिले, लेकिन बाद में शिवसेना ने भारतीय जनता पार्टी की पीठ में छुरा घोंप दिया।
‘ये बालासाहब की नहीं उद्धव और सत्तार की सेना है’
दानवे ने कहा, ‘मौजूदा शिवसेना बालासाहेब ठाकरे की सेना नहीं बल्कि यह उद्धव ठाकरे और अब्दुल सत्तार (राज्य सरकार में मंत्री) की सेना है।’ उन्होंने कहा कि वह 2019 में बीजेपी नेताओं अमित शाह, देवेंद्र फडणवीस, आशीष शेलार और शिवसेना प्रमुख उद्धव ठाकरे के बीच ठाकरे परिवार के आवास ‘मातोश्री’ में बंद कमरे में हुई चर्चा के दौरान मौजूद थे। उन्होंने दावा किया कि सीएम पद के बारे में तब कोई चर्चा नहीं हुई थी। उन्होंने शिवसेना के उस दावे का खंडन किया कि दोनों सहयोगी दल सीएम के पद को एक तय अंतराल के बाद बदलने पर सहमत हुए थे।