उज्जैन, (मध्यप्रदेश)। मध्य प्रदेश के उज्जैन में प्रसिद्ध महाकालेश्वर मंदिर के विस्तार के लिए की जा रही खुदाई के दौरान करीब 1000 साल पुरानी संरचना के अवशेष मिले हैं जिसके बाद खुदाई रोक दी गयी है। मंदिर के सहायक प्रशासक मूलचंद जुनवाल ने शनिवार को बताया कि महाकालेश्वर मंदिर के मुख्य द्वार पर सती मंदिर के पास प्रतीक्षा क्षेत्र, बगीचे और अन्य सुविधाओं को बनाने के लिये शुक्रवार को खुदाई 20 फीट तक पहुंच गयी, तभी वहां कुछ पुरातन सीढ़ियां और मंदिर के अवशेष दिखाई दी जिसके बाद खुदाई रोक दी गयी।
मालूम हो कि उज्जैन का प्राचीन महाकालेश्वर मंदिर देश के 12 ज्योतिर्लिंगों में से एक है। उन्होंने बताया, ‘‘पुरातन अवशेष सामने आने पर खुदाई रोक दी गयी और पुरातत्वविद् डॉ. रमन सोलंकी को इन प्राचीन संरचनाओं के बारे में सूचित कर दिया गया।’’ उन्होंने कहा कि सोलंकी द्वारा रिपोर्ट प्रस्तुत करने के बाद खुदाई फिर से शुरू की जायेगी।
विक्रमादित्य काल के अवशेष भी निकल सकते हैं
सोलंकी ने बताया कि ये अवशेष 1000 साल पुराने हो सकते हैं, क्योंकि इसको देखकर और इसकी बनावट से लगता है कि ये राजा भोज यानी परमार काल के हो सकते हैं। उन्होंने कहा कि इस मंदिर की और गहराई एवं चारों तरफ़ खुदाई की जाए तो संभवतः 2600 साल पहले के जो शासक रहे थे, उनके निर्माण और यहां तक की उज्जैन के राजा रहे विक्रमादित्य के काल के अवशेष भी निकल सकते हैं। जिलाधिकारी आशीष सिंह ने कहा कि स्थल पर आगे खुदाई विशेषज्ञों की देखरेख में की जाएगी ताकि ऐतिहासिक और पुरातात्विक महत्व की हर चीज की रक्षा की जा सके।