नई दिल्ली: दीवाली के साथ-साथ छुट्टियों के दिन आ गए है। इस दिन हर कोई अपनी फैमिली के मां लक्ष्मी की पूजा अर्चना करते है। इस बार दीवाली के साथ-साथ वीकेंड भी पड़ रहा है। ऐसे में आप रिलैक्स होना तो चाहेंगे। अगर आपका भी मूड कही घूमने को हो रहा है तो इस बार पुणे जाने का प्लान बना लें। जी हां पुणे महाराष्ट्र का सबसे फेमस और अमीर शहर है। जिसके कारण आज के यंगस्टर्स को यह ज्यादा आकर्षित करता है। यहां पर बेहतरीन शिक्षण संस्थान होने के साथ घूमने की बेतरीन जगह है। जहां आप अपने दोस्तों या फिर फैमिली के साथ समय बिता सकते है। तो फिर देर किस बात की जानें पुणे की बेहतरीन घुमने वाली जगहों के बारें में।
कामशेत
काश्मेक को महाराष्ट्र का पैराग्लाइडिंग हब की कहा जाता है। यह पुणे से 48 किमी. आगे है। जहां आप अपनी लाइफ के कुछ रोमांचक काम कर सकते है। यह लोनावला से काफी करीब है। आप यहां पर प्राचीन पहाड़ी, किला आदि के दीदार कर सकते है। यहां पर आप कोंडेश्वर मंदिर, विद्धेश्वर मंदिर, कार्ला, भाजा गुफाओं आदि को भी देख सकते हैं। कामशेत में आप ट्रेकिंग, पैराग्लाइडिंग, हाइकिंग आदि रोमाचंक गतिविधियों का आनंद जी भरकर उठा सकते हैं।
वाई
पुणे के कृष्णा नदीं के पास स्थित यह बहुत ही खूबसूरत टुरिस्ट प्लेस है। इसे विराट नगरी के नाम से भी जाना जाता है। यह पुणे से 85 किलमी दूर स्थित है। यहां पर आपको आत्मित शांति, सुकून मिलेगा। चारों ओर हरियाली देखकर आपका मन खुश हो जाएगा। इसके अलावा आप यहां पर कैपिंग, हाइकिंग, ट्रेकिंग भी कर सकते है।
खंडाला
खंडाला अपने आप भी एक अलग ही नाम है। जो कि एक सबसे फेमस हिल स्टेशन माना जाता है। यह पुणे से 69 किमी दूर स्थित है। यहां पर आप खुद को नेचर के सबसे करीब पाएंगे। यहां पर एक व्यू प्वाइंट है जिसे 'टाइगर लीप' के नाम से जाना जाता है। यहां से आप प्रकृति की खूबसूरती का अच्छे से दीदार कर सकते है। यहां पर आप ट्रेकिंग कर सकते है।
लोहागढ़ किला
यह पुणे से 74 किमीं दूर है। इस जगह को महाराष्ट्र के सबसे प्राचीन महलों में से एक माना जाता है। यहां से बाजा और कार्ला गुफाएं काफी पास ही है। आप यहां पर किले देखने के साथ-साथ ट्रेकिंग का भी आनंद ले सकते है।
सिंहगढ़ किला
सिंहगढ़ एक पहाड़ी किला है जो महाराष्ट्र के पुणे शहर से लगभग 30 किमी दक्षिण पश्चिम स्थित है। इस किले की उपलब्ध कुछ जानकारी से पता चलता है कि यह किला 2000 साल पहले बनाया गया। यह किला पहले कोंढाना के नाम से जाना जाता था, इस किले पर कई युद्धों हुए हैं, उनमे से खासकर 1670 में सिंहगढ़ की लड़ाई। इस किले को 'कोंढाणा' नाम से जाना जाता था। शिवाजी महाराज के सरदार तानाजी मालुसरे ने अपने बेटे की शादी छोड़ लड़ाई लड़ी थी। इसमें उसका निधन होने के बाद शिवाजी ने उन्हें शेर कहा था, और किले को भी सिंहगढ़ नाम दिया।
लोनावाल
घूमने के लिए अक्सर लोग मुंबई जाते हैं। वहां से महज 95 किलोमीटर दूर एक और बेहद खूबसूरत हिल स्टेशन है लोनावला। परिवार के साथ घूमने जाना हो या दोस्तों के साथ मस्ती करनी हो, यह जगह सभी के लिए मुफीद है। बारिश के मौसम में यहां की हरियाली लाजवाब होती है. सर्दियों में यहां का तापमान 12 डिग्री तो गर्मियों में 36 डिग्री तक रहता है।
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