Monday, December 23, 2024
Advertisement
  1. Hindi News
  2. लाइफस्टाइल
  3. जीवन मंत्र
  4. नागपंचमी: नागों की जीभ के दो टुकड़े होने का है ये कारण, जानिए और भी दिलचस्प बातें

नागपंचमी: नागों की जीभ के दो टुकड़े होने का है ये कारण, जानिए और भी दिलचस्प बातें

महाभारत के आदि पर्व में नागों की उत्पत्ति और राजा जनमेजय द्वारा किए गए नागदाह यज्ञ से संबंधित कथा का वर्णन है। जानिए नाग के बारें में कुछ रोचक बातों बारें में।

Edited by: India TV Lifestyle Desk
Published : July 26, 2017 11:32 IST

naag

naag

ऐसे हुआ था नाग वंश की उत्पत्ति
इस बारें में भी महाभारत मं बताया गया है कि महर्षि कश्यप की तेरह पत्नियां थीं। इनमें से कद्रू भी एक थी। कद्रू ने अपने पति महर्षि कश्यप की बहुत सेवा की, जिससे प्रसन्न होकर महर्षि ने कद्रू को वरदाने मांगने के लिए कहा। कद्रू ने कहा कि एक हजार तेजस्वी नाग मेरे पुत्र हों। महर्षि कश्यप ने वरदान दे दिया, उसी के फलस्वरूप नाग वंश की उत्पत्ति हुई।

महर्षि कश्यप की एक अन्य पत्नी का नाम विनता था। पक्षीराज गरुड़ विनता के ही पुत्र हैं। एक बार कद्रू और विनता ने एक सफेद घोड़ा देखा। उसे देखकर कद्रू ने कहा कि इस घोड़े की पूंछ काली है और विनता ने कहा कि सफेद। इस बात पर दोनों में शर्त लग गई। तब कद्रू ने अपने नाग पुत्रों से कहा कि वे अपना आकार छोटा कर घोड़े की पूंछ से लिपट जाएं, जिससे उसकी पूंछ काली नजर आए और वह शर्त जीत जाए।

कुछ सर्पों ने ऐसा करने से मना कर दिया। तब कद्रू ने अपने पुत्रों को श्राप दे दिया कि तुम राजा जनमेजय के यज्ञ में भस्म हो जाओगो। श्राप की बात सुनकर सांप अपनी माता के कहे अनुसार उस सफेद घोड़े की पूंछ से लिपट गए जिससे उस घोड़े की पूंछ काली दिखाई देने लगी। शर्त हारने के कारण विनता कद्रू की दासी बन गई।

अगली स्लाइड में पढ़ें नाग देवता के बारें में और रोचक कथाएं

Latest Lifestyle News

India TV पर हिंदी में ब्रेकिंग न्यूज़ Hindi News देश-विदेश की ताजा खबर, लाइव न्यूज अपडेट और स्‍पेशल स्‍टोरी पढ़ें और अपने आप को रखें अप-टू-डेट। Religion News in Hindi के लिए क्लिक करें लाइफस्टाइल सेक्‍शन

Advertisement
Advertisement
Advertisement