यह चूहे है माता की संतान
मन्याता है कि इस मंदिर में जो भी चूहे रहते है वो माता के संतान है। इनकी एक कथा के अनुसार एक बार करणी माता का सौतेला पुत्र लक्ष्मण, कोलायत में स्थित कपिल सरोवर में पानी पीने की कोशिश में डूब कर मर गया। जब करणी माता को यह पता चला तो उन्होंने, मृत्यु के देवता यम को उसे पुनः जीवित करने की प्रार्थना की। पहले तो यम राज़ ने मन किया पर बाद में उन्होंने विवश होकर उसे चूहे के रूप में पुर्नजीवित कर दिया।
लेकिन यहां के लोकगीतों में दूसरी ही कथा कही जाती है। इसके अनुसार एक बार 20000 सैनिकों की एक सेना देशनोक पर आक्रमण करने आई जिन्हे माता ने अपने प्रताप से चूहे बना दिया और अपनी सेवा में रख लिया। जो कि अब माता के दरबार में उनकी रक्षा करते है।
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