गरूड पुराण के अनुसार यह भी माना जाता है कि यदि श्राद्ध पक्ष में पितरों की तिथि आने पर जब उन्हे अपना भोजन नहीं मिलता है तो वे क्रोधित होकर श्राप देते हैं। जिसके कारण वह घर परिवार कभी भी उन्नति नहीं कर पाता है तथा उस घर से धन, बुद्धि, विद्या आदि का विनाश हो जाता है।
श्राद्ध करने का शुभ मुहूर्त
पितृविसर्जन का समय 19 सितंबर को दोपहर 11 बजकर 52 मिनट के बाद शुरू हो रहा है। यह 20 सितंबर को सुबह 10 बजकर 59 मिनट तक रहेगा।