धर्म डेस्क: दुर्गाष्टमी व्रत, मघा नक्षत्र आज अधिक ज्येष्ठ शुक्ल पक्ष की अष्टमी तिथि है। हर माह के शुक्ल पक्ष की अष्टमी को दुर्गाष्टमी व्रत किया जाता है। आज के दिन देवी दुर्गा की उपासना की जाती है। साथ ही आज रात 08:28 से कल पूरा दिन, पूरी रात पार करके, अगले दिन, यानी 24 मई को शाम 07:45 तक सारे काम सिद्ध करने वाला रवि योग रहेगा। इसके अलावा आज रात 08:28 तक मघा नक्षत्र भी रहेगा।
आकाशमंडल में स्थित कुल 27 नक्षत्रों में से दसवां स्थान मघा नक्षत्र का है। मघा नक्षत्र का अर्थ है- बलवान या महान। इसका प्रतीक चिन्ह राज सिंहासन को माना जाता है, जो कि ताकत और प्रभुत्व के साथ जुड़ा हुआ है। मघा नक्षत्र में तालाब बनवाना, कुएं खुदवाना, नलकूप लगवाना, चिकित्सा का कार्य, विद्या अध्ययन, लेखन और शिल्प आदि से संबंधित कार्य करना शुभ माना जाता है। मघा नक्षत्र के स्वामी केतु हैं, जबकि इसके अधिपति देवता पितरों को माना जाता है। इसके अलावा मघा नक्षत्र का संबंध बरगद के पेड़ से बताया गया है और इसके चारों चरण सिंह राशि में आते हैं।
जिनका जन्म मघा नक्षत्र में हुआ हो या जिनका नाम ‘म’ अक्षर से शुरू होता हो, उन लोगों को आज के दिन बरगद के वृक्ष को किसी भी तरह की क्षति नहीं पहुंचानी चाहिए। न ही उसके पत्तों को तोड़ना चाहिए और न ही उसकी लकड़ी को तोड़कर किसी प्रयोग में लेना चाहिए। इसके बजाय आपको आज के दिन बरगद के वृक्ष को नमस्कार करना चाहिए और उसकी पूजा करनी चाहिए।