साल की दूसरा चंद्र ग्रहण 5 जून को लगने जा रहा है। आपको बता दें इस साल का पहला चंद्र ग्रहण 10 जनवरी की रात को लगा था। 5 जून को लगने वाला चंद्रग्रहण उपच्छाया चंद्र ग्रहण होगा। जिसके कारण चांद का आकार और छवि में कोई बदलाव नहीं होगा। सिर्फ चांद की छवि धूमिल होगी। यह चंद्रग्रहण खगोलीय और ज्योतिषशास्त्र में काफी महत्व रखता है।
चंद्र ग्रहण का समय
ज्योतिषीय गणना के अनुसार ये चंद्र ग्रहण 5 जून की रात 11 बजकर 16 मिनट से शुरू होगा जो 6 जून की सुबह 2 बजकर 34 मिनट तक रहेगा। यह ग्रहण ज्येष्ठा नक्षत्र और वृश्चिक राशि में होने वाला है।
इन जगहों पर दिखेगा चंद्र ग्रहण
यह चंद्रग्रहण यूरोप, एशिया, ऑस्ट्रेलिया और अफ्रीका के ज्यादातर हिस्सों में दिखाई देगा।
क्या होता है उपच्छाया चंद्र ग्रहण?
ग्रहण लगने से पहले चंद्रमा पृथ्वी की उपछाया में प्रवेश करती जिसे चंद्र मालिन्य कहते हैं। उपच्छाया चंद्र ग्रहण तब लगता है जब चंद्रमा धरती की वास्तवित छाया में न आकर उसकी उपच्छाया से ही वापस लौट जाता है। जिसके कारण चांद में एक धुंधली सी परत नजर आती है। वास्तविक चंद्रग्रहण की तरह की इस चंद्रग्रहण में भी आकार में कोई फर्क नहीं पड़ता है। बस चांद की रोशनी थोड़ी धुंधली हो जाती है। इसे सिर्फ उपछाया चंद्र ग्रहण कहते हैं ना कि चंद्र ग्रहण।
भारत में कैसा दिखेगा चंद्र ग्रहण
उपच्छाया चंद्र ग्रहण होने के कारण भारत में भी चंद्रग्रहण का कोई असर नहीं नजर आएगा। बस चांद की धुंधली तस्वीर नजर आएगी।
चंद्र ग्रहण के प्रकार
आपको बता दें कि चंद्र ग्रहण 3 तरह के होते हैं।
पूर्ण चंद्र ग्रहण- इस चंद्र ग्रहण में जब प्रथ्वी सूर्य के चारों चक्कर काटते हुए सूर्य को पूरी तरह से ढक लेती हैं और चंद्रमा तक सू्र्य की रोशनी नहीं पहुंच पाती हैं तो वह पूर्ण चंद्र ग्रहण कहलाता है।
आंशिक चंद्र ग्रहण- इस ग्रहण पर जब चंद्रमा पर प्रथ्वी की छाया आंशिक रूप से पड़ती है तो आंशिक चंद्र ग्रहण होता है।
उपच्छाया चंद्र ग्रहण- जब चंद्रमा प्रथ्वी की छाया वाले क्षेत्र में आ जाता है तो इस तरह का चंद्र ग्रहण पड़ता है।
ऐसे देखें चंद्र ग्रहण लाइव
अगर आप लाइव चंद्र ग्रहण देखना चाहते है तो आप Nasa की ऑफिशियल वेबसाइट में जाकर देख सकते है। इसके लिए आप www.nasa.gov में जा सकते है।