हेल्थ डेस्क: मानसून का मौसम किसे पसंद नहीं होता है। हल्की-हल्की बारिश और कहीं लंबी राइड या फिर घर पर ही रहकर नी-नई रेसिपी बनाना। लेकिन इस मौसम में सबसे ज्यादा समस्या होती है बीमारी की। इस मौसम में आपको आसानी से सर्दी- जुकाम, इंफेक्शन आदि की समस्या हो जाती है।
इस मौसम में खानपान का ज्यादा ख्याल रखना पड़ता है। इतना ही नहीं अगर आपने इस मौसम में खानपान का ख्यान रखा तो आपको हेपेटाइटिस की समस्या हो सकती है। इसके साथ ही पीलिया की भी समस्या बढ़ सकती है।
बीएलके सुपर स्पेशलिटी हॉस्पिटल के सेंटर ऑफ डाइजेस्टिव एंड लिवर डिसीज के निदेशक डॉ. जे.सी. विज ने कहा कि मानसून के दौरान हेपेटाइटिस संक्रमण मुख्य रूप से ए व ई वायरसों के कारण होते हैं, जो प्रदूषित खाने या पानी से फैलता है।
उन्होंने कहा, "हेपेटाइटिस ए, आमतौर पर हेपेटाइटिस-ए से संक्रमित व्यक्ति के मल से प्रदूषित हुए खाने या द्रव्य का सेवन करने के बाद होता है, लेकिन यह जानलेवा नहीं है। इसकी वजह से लिवर में लंबी सूजन नहीं आती है। प्रदूषित पानी पीने या आसपास स्वच्छता न रखने वाले ज्यादातर लोग इस वायरस से संक्रमित हो जाते हैं।"
क्या है हेपेटाइटिस
डॉ. विज ने कहा, "ऐसा ही हेपेटाइटिस-ई वायरस के साथ भी होता है। यह एक जलजनित रोग है। यह मुख्य रूप से प्रदूषित पानी या खाने का उपभोग करने से संचारित होता है और खराब स्वच्छता वाले क्षेत्रों में ही यह मुख्य रूप से पाया जाता है।"
उन्होंने कहा, "मानसून में ए और ई हेपेटाइटिस संक्रमण आम हैं। इन वायरसों से होने वाले संक्रमण के इलाज के लिए बाजार में कोई दवा उपलब्ध नहीं है और किसी दवा की जरूरत भी नहीं। लेकिन चिकित्सक से परामर्श लेना जरूरी है, ताकि यह पता किया जा सके कि पीलिया बी व सी जैसे खतरनाक हेपेटाइटिस वायरस के कारण तो नहीं हुआ है।"
डॉ. विज ने कहा, "किसी भी झाड़-फूंक या देसी दवा की जगह पर्याप्त आराम करना और खाने के संबंध में सावधानी बरतना ही इसे ठीक करने के लिए काफी है।"
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