हेल्थ डेस्क: खराब लाइफस्टाइल और अनियमित खानपान के कारण कई बीमारियों का सामना करना पड़ता है। देश में कम सम कम 10 करोड़ लोग डायबिटीज़ की समस्या से परेशान है। यह युवाओं से लेकर बच्चों को भी अपनी चपेट में ले रहा है।
डायबिटीज़ होने का मुख्य कारण तनाव, अधिक खाना, जंकफूड, ऑयली चीजों का सेवन साथ ही किसी भी तरह की शारीरिक एक्सरसाइज न करने के कारण डायबिटीज़ जैसी समस्या का सामना करना पड़ता है, लेकिन आप ये बात नहीं जानते होगे कि डायबिटीज का असर आपके दिमाग में भी अधिक पड़ता है।
डायबिटीज होने के बाद दिल से संबंधित बीमारियों का खतरा बढ़ जाता है। इसमें मस्तिष्क को भी नुकसान पहुंचता है। हाल में ही एक शोध किया गया। जिसमें इस बात का खुलासा हुआ कि डायबिटीज होने के कारण आपके मस्तिष्क में सिकुंडन आ जाती है।
वैज्ञानिकों का कहना है कि गंभीर डाय़बिटीज वाले रोगिों के मस्तिष्क में कम सैल होते है, जो इसके क्षीण होने के तथ्य की ओर इशारा करते है।
शोधकर्ताओं ने अपने शोध के लिए 614 मरीजों को चुना तथा टाइप 2 डायबिटीज और मस्तिष्क की सरंचना के बीच संबंध पता लगाने की कोशिश की। इस मरीजों की एम.आर.आई की गई।
शोध में ये बात सामने आई कि लंबे समय तक डायबिटीज रहने का सीधा संबंध मस्तिष्क के घनत्व में कमी आने से है। इसलिए जरुरी है कि डाय़बिटीज होने पर जरा सी भी लापरवाही न करें। साथ ही अपनी लाइफस्टाइल का पूरा ध्यान रखें।
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