हेल्थ डेस्क: अमेरिका में हुए एक अध्ययन में यह पता चला है कि स्कूलों में योग एवं ध्यान से जुड़ी गतिविधियां छोटे बच्चों को तनाव एवं चिंता दूर करने में मदद कर सकती हैं और इससे उनके शारीरिक एवं मानसिक स्वास्थ्य में सुधार हो सकता है।
अमेरिका में टूलेन यूनीवर्सिटी के शोधकर्ताओं ने छात्रों में संवेदना जगाने वाले मौजूदा स्कूली कार्यक्रमों में योग एवं ध्यान को भी शामिल करने के लिये सरकारी स्कूलों के साथ काम किया।
स्कूल के शुरुआती साल में तीसरे ग्रेड के जिन छात्रों में चिंता के लक्षण पाये गये थे , उन्हें दो समूहों में बांट दिया गया।
इनमें से 32 छात्रों के समूह को स्वाभाविक रूप से बेहतर देखभाल मिली। उन्हें परामर्श दिये गये और स्कूल के सामाजिक कार्यकर्ता की अगुवाई में अन्य गतिविधियों में शामिल किया गया।
वहीं 20 छात्रों के समूह को ‘ योग एड ’ कार्यक्रम के तहत करीब आठ हफ्ते तक योग/ध्यान की गतिविधियों में शामिल किया गया। इस सत्र में श्वास अभ्यास , प्रशिक्षक की देखेरेख में बच्चों के अनुकूल ध्यान एवं योग के कई पारंपरिक अभ्यास को शामिल किया गया।
यह अध्ययन ‘साइकोलॉजी रिसर्ज एंड बिहेवियर मैनेजमेंट’ पत्रिका में प्रकाशित हुआ है।
टूलेन यूनीवर्सिटी के सहायक प्रोफेसर एलेसांद्रे बाजानो ने बताया, ‘‘विशेष देखरेख पाए छात्रों में मनोवैज्ञानिक एवं भावनात्मक गुणवत्ता में सुधार देखा गया।’’
बाजानो ने बताया, ‘‘अपने शुरुआती काम में हमने पाया कि कक्षाओं का कार्य अधिक थकाऊ और बोझिल होने के चलते तीसरे ग्रेड के कई बच्चों ने चिंता की शिकायत की थी।’’