लखनऊ: कांग्रेस महासचिव प्रियंका गांधी वाद्रा ने शनिवार को मांग की कि उत्तर प्रदेश के लखीमपुर खीरी में हाल में हुए पंचायत चुनाव रद्द कर फिर से चुनाव कराए जाएं। उन्होंने उन 2 महिलाओं से भी मुलाकात की, जिनके साथ भारतीय जनता पार्टी (BJP) के कार्यकर्ताओं ने कथित रूप से दुर्व्यवहार किया था। राज्य में अगले वर्ष होने वाले विधानसभा चुनावों के मद्देनजर अपने लखनऊ दौरे के दूसरे दिन प्रियंका गांधी लखीमपुर खीरी जिले के पथगावा प्रखंड के सेमरा गांव पहुंचीं।
‘बीजेपी के कार्यकर्ताओं ने साड़ियां खींची थीं’
गौरतलब है कि 9 जुलाई को समाजवादी पार्टी (सपा) के प्रमुख अखिलेश यादव ने आरोप लगाया था कि बीजेपी कार्यकर्ताओं ने उनकी पार्टी की उम्मीदवार रितु सिंह और उनकी प्रस्तावक अनीता यादव के साथ दुर्व्यवहार किया। उन्होंने यह भी दावा किया था कि बीजेपी के कार्यकर्ताओं ने रितु और अनीता की साड़ियां खींची थीं। प्रियंका ने शनिवार को रितु सिंह और अनीता यादव से भी मुलाकात की। मुलाकात के दौरान प्रदेश कांग्रेस अध्यक्ष अजय कुमार लल्लू भी मौजूद थे।
‘एक महिला के नाते उनसे मिलने आई हूं’
प्रियंका ने पत्रकारों से कहा, ‘मैं उनसे मिलने इसलिये आई हूं,क्योंकि वे एक महिला हैं, वे मेरी बहन हैं और मैं उन्हें यह बताना चाहती हूं कि देश और इस प्रदेश की एक-एक महिला उनके साथ खड़ी है। एक दिन आप (दोनों महिलाएं) नामांकन पत्र दाखिल करेंगी और चुनाव में विजयी होंगी। आपको लड़ना होगा, और हम सब आपके लिए लड़ेंगे। यह लोकतंत्र की लड़ाई है। हमारे लोकतंत्र में महिलाओं को आरक्षण दिया गया ताकि उनके अधिकारों को बरकरार रखा जा सके। स्थिति ऐसी हो गई है कि एक महिला नामांकन पत्र दाखिल करने गई और उसके साथ मारपीट की गई। यह लोकतंत्र नहीं है।’
‘चुनाव को रद्द कर दोबारा मतदान कराया जाए’
कांग्रेस महासचिव ने कहा, ‘मैं मांग करती हूं कि इस चुनाव को रद्द कर दिया जाए और उन सभी जगहों पर जहां इस तरह की घटनाएं हुई हैं, दोबारा मतदान कराया जाए। एक सीओ (पुलिस क्षेत्राधिकारी) जिन्होंने उन्हें बचाने की कोशिश की, उन्हें निलंबित कर दिया। बाकी अधिकारी जो खड़े थे, उन पर कोई कार्रवाई नहीं की, प्रशासन मौन हैं। चुनाव में इस तरह की कोई भी घटना होती हैं तो चुनाव रद्द कर दिया जाता हैं, दोबारा कराया जाता हैं। इस बार ऐसा क्यों नहीं हुआ? क्या कोई दस गुंडो को लेकर मारपीट करके चुनाव जीत सकता हैं? क्या यह हमारा लोकतंत्र है, आज हमें यह पूछने की जरूरत हैं।’
‘पंचायत चुनाव में हर जिले में कुछ न कुछ हुआ है’
कांग्रेस नेता ने मीडिया से कहा, ‘आपको (मीडिया) सवाल उठाना चाहिए, पूरा वीडियो हैं जिसमें सब कुछ दिख रहा हैं। क्या आप अपने प्रदेश और अपने देश में यही चाहते हैं कि लोकतंत्र की इस तरह से धज्जियां उड़ाई जाएं? और प्रधानमंत्री जी तारीफ कर रहे हैं, प्रधानमंत्री ने पंचायत चुनाव के लिए बधाई दी हैं। जबकि हर जिले में कुछ न कुछ हुआ हैं, कही हिंसा हुई हैं तो कहीं महिला के साथ अत्याचार हुआ हैं।'
‘बीजेपी के गुंडे कान खोलकर सुन लें’
बाद में प्रियंका ने ट्विट कर कहा, 'लोकतंत्र का चीरहरण करने वाले BJP के ‘गुंडे’ कान खोलकर सुन लें, महिलायें प्रधान, ब्लाक प्रमुख, विधायक, सांसद, मुख्यमंत्री, प्रधानमंत्री बनेंगी और उन पर अत्याचार करने वालों को शह देने वाली सरकार को शिकस्त देंगी। पंचायत चुनाव में भाजपा द्वारा की गयी हिंसा की शिकार अपनी सभी बहनों और नागरिकों के न्याय के लिये मैं राज्य चुनाव आयोग को पत्र लिखूंगी।'
कई पुलिस अधिकारियों पर गिरी थी गाज
गौरतलब है कि 9 जुलाई को लखीमपुर खीरी जिले के पसगवां विकास खंड में क्षेत्र पंचायत प्रमुख के नामांकन के दौरान सपा की उम्मीदवार के साथ कथित अभद्रता, साड़ी खींचने और नामांकन पत्र फाड़ने के मामले में संबंधित क्षेत्र के CO, पसगवां के SHO, चौकी प्रभारी एक निरीक्षक और 3 उपनिरीक्षकों समेत कुल 6 पुलिस अधिकारियों को तत्काल प्रभाव से सस्पेंड कर दिया गया था। सपा प्रमुख और पूर्व सीएम अखिलेश यादव ने इस मामले को लेकर सत्तारूढ़ बीजेपी को कटघरे में खड़ा किया था। इस मामले में सपा के उम्मीदवार की शिकायत पर पसगवां पुलिस में एक प्राथमिकी दर्ज की गई थी। (भाषा)