लखनऊ: योगी आदित्यनाथ सरकार की समीक्षा के दायरे में समाजवादी स्मार्टफोन योजना और समाजवादी पेंशन स्कीम आने के बाद अब पूर्व मुख्यमंत्री अखिलेश यादव के महत्वाकांक्षी साइकिल ट्रैक पर भी नयी सरकार की नजर है।
(देश-विदेश की बड़ी खबरें पढ़ने के लिए क्लिक करें)
शहरी विकास राज्य मंत्री गिरीश यादव ने कहा कि नई सरकार साइकिल ट्रैक का व्यवहार्यता अध्ययन कराने की योजना बना रही है ताकि उसकी उपयोगिता का आकलन किया जा सके। साइकिल समाजवादी पार्टी का चुनाव निशान है, जिसने पांच साल उत्तर प्रदेश में अखिलेश यादव के नेतृत्व में सत्ता संभाली। सपा के राजनीतिक विरोधी साइकिल ट्रैक के ईद गिर्द लाल-हरे रंग की सीमा रेखा बनाने पर भी ऐतराज कर चुके हैं क्योंकि वे इसे सपा के प्रचार का साधन मानते हैं। सपा का झंडा लाल हरे रंग का है।
ये भी पढ़ें
- सख्त हुई योगी सरकार, पुलिस को हिदायत - शातिर अपराधियों के साथ ना बरती जाए कोई रियायत
- खुलासा: कश्मीरी आतंकियों के निशाने पर मोदी और योगी, लंदन में हो रही है साजिश!
यादव ने कहा कि साइकिल ट्रैक की व्यवहार्यता का अध्ययन कराया जा रहा है। राज्य सरकार को इसकी रिपोर्ट मिलने के बाद आगे कार्रवाई की जाएगी। उन्होंने हालांकि कहा कि इस बारे में कोई भी फैसला जनता के हितों को ध्यान में रखकर किया जाएगा। एक सवाल के जवाब में यादव बोले, शायद दो दिन में हम कोई फैसला कर सकें।
समाजवादी स्मार्टफोन योजना भी अखिलेश का पसंदीदा प्रोजेक्ट थी। उसे भी योगी सरकार संभवत: बंद कर देगी। अपर मुख्य सचिव (आईटी एवं इलेक्ट्रॉनिक्स) संजीव सरन कह चुके हैं कि उत्तर प्रदेश सरकार ने योजना को जारी रखने के बारे में कोई फैसला नहीं किया है। उन्होंने हालांकि और कोई ब्यौरा नहीं दिया।
इस बीच सरकारी सूत्रों ने बताया कि योजना से राजकोष पर भारी बोझ पडेगा। स्कीम के लिए 1.4 करोड़ से अधिक लोग, विशेषकर युवा पहले ही ऑनलाइन पंजीकरण करा चुके हैं। समाजवादी स्मार्टफोन योजना का पंजीकरण पिछले साल दस अक्तूबर को शुरू हुआ था।
उत्तर प्रदेश की योगी सरकार ने हाल ही में समाजवादी पेंशन योजना को बंद कर लाभार्थियों की जांच का आदेश दिया है। राज्य सरकार के एक प्रवक्ता के मुताबिक, अधिकारियों से कहा गया है कि लाभार्थियों की जांच महीने भर में कर ली जाए। एक सुझाव ये भी है कि समाजवादी शब्द हटाकर इसका नाम मुख्यमंत्री पेंशन योजना किया जाए।