लखनऊ: उत्तर प्रदेश सरकार ने शुक्रवार को मीडिया में आई उन खबरों को खारिज कर दिया, जिसमें मुख्यमंत्री आदित्यनाथ योगी के संसदीय क्षेत्र गोरखपुर के सरकारी अस्पताल में ऑक्सीजन की कमी के कारण 30 बच्चों के मरने की खबर प्रसारित की गई थी। राज्य के सूचना विभाग ने देर शाम जारी बयान में कहा कि कुछ टीवी चैनलों द्वारा बाबा राघव दास मेडिकल कॉलेज अस्पताल में 30 बच्चों की मौत की खबरें दिखाई जा रही हैं जो भ्रामक हैं।
हालांकि इसमें कहा गया कि जिलाधिकारी राजीव रौतेला निजी तौर पर मेडिकल कॉलेज अस्पताल में तैनात हैं और स्थिति पर नजर रखे हुए हैं, जहां शुक्रवार को 'अलग-अलग मेडिकल कारणों' से 7 मरीजों की मौत हुई है। यह बयान गोरखपुर के जिलाधिकारी को टीवी चैनलों पर यह बयान देते देखने के बाद आया है, जिसमें जिलाधिकारी ने 'पिछले दो दिनों में 30 बच्चों की मौत' की तथा पिछले 24 घंटों में 7 मौत की पुष्टि की थी।
रौतेला ने स्थानीय टीवी चैनलों को बताया कि 17 बच्चों की नवजात प्रसव वार्ड में, 5 बच्चों की तीव्र इन्सेफेलाइटिस सिंड्रोम से पीड़ित मरीजों के लिए बनाए गए बार्ड में और 8 की सामान्य वार्ड में मौत हुई है। ऑक्सीजन की कमी की वजह से बच्चों की मौत हुई है, इस बात का खंडन करते हुए हालांकि उन्होंने यह स्वीकार किया कि लिक्विड ऑक्सीजन की कमी है, क्योंकि 70 लाख रुपये का भुगतान नहीं किया है। भुगतान नहीं होने के कारण विक्रेता की ऑक्सीजन की आपूर्ति बंद कर दी है। हालांकि, उन्होंने कहा आपातकालीन उपयोग के लिए वैकल्पिक व्यवस्था की गई है। उन्होंने आगे बताया कि विक्रेता को 35 लाख रुपये का भुगतान कर दिया गया है और उससे गुजारिश की गई है कि ऑक्सीजन की आपूर्ति बंद न करे।