प्रयागराज: इलाहाबाद उच्च न्यायालय ने हाथरस सामूहिक बलात्कार मामले के विरोध में प्रदर्शन में हिस्सा लेने और मुख्यमंत्री के खिलाफ आपत्तिजनक टिप्पणी करने के आरोपी की गिरफ्तारी पर रोक लगा दी है। उच्च न्यायालय के न्यायाधीश न्यायमूर्ति अंजनी कुमार मिश्रा और न्यायमूर्ति शेखर कुमार यादव की खंडपीठ ने पिछले सोमवार को कासगंज जिले के नीरज कुमार मिश्रा द्वारा दायर याचिका पर सुनवाई करते हुए इस मामले में राज्य सरकार को चार सप्ताह के भीतर जवाब दाखिल करने का निर्देश दिया।
अदालत इस मामले की अगली सुनवाई छह सप्ताह बाद करेगी। मिश्रा पर आरोप है कि उसने विरोध प्रदर्शन के दौरान मुख्यमंत्री के खिलाफ आपत्तिजनक टिप्पणी की थी। सुनवाई के दौरान याचिकाकर्ता के वकील ने दलील दी कि एक लोकतांत्रिक देश में सत्तारूढ़ पार्टी के खिलाफ विरोध प्रदर्शन करना, विपक्षी नेताओं का संवैधानिक अधिकार है और इसलिए बलात्कार के मुद्दे पर याचिकाकर्ता के विरोध प्रदर्शन को नफरत फैलाने वाला नहीं कहा जा सकता। उन्होंने कहा कि इस प्रकार से याचिकाकर्ता के खिलाफ धारा 153-बी (2) और धारा 505 (2) के तहत कोई अपराध नहीं बनता।