कानपुर: उत्तर प्रदेश में कानपुर पुलिस टीम पर हमले के मामले में कानपुर के आईजी मोहित अग्रवाल ने कहा कि विकास दुबे को पुलिस मूवमेंट की जानकारी कैसे मिली, इस पर स्थानीय पुलिस स्टेशन के सभी कर्मी हमारी जांच के दायरे में है। उन्होंने कहा कि अभी पूरा चौबेपुर थाना शक के घेरे में है। कितने पुलिसकर्मियों ने विकास दुबे से बात की, इस मामले की जांच चल रही है। जो पुलिसवाले दोषी पाए जाएंगे उनके ऊपर भी हत्या का केस चलेगा।
कानपुर आईजी ने बताया कि इस पूरी घटना में 21 नामजद हैं और 50-60 अज्ञात हैं. 8 पुलिस कर्मियों के शहीद होने के बाद हमने इलाके में सर्च ऑपरेशन चलाया जिसमें दो बदमाश मारे गए। इसमें एसएसपी कानपुर दिनेश कुमार की बुलेट प्रूफ जैकेट पर गोली लगी थी। गोलियां मेरे बगल से भी निकलीं और हमारे दो सिपाही घायल हुए।
मोहित अग्रवाल ने बताया कि चौबेपुर के निलंबित थानाध्यक्ष पर घटना के एक दिन पहले विकास दुबे ने राइफल तानी थी, लेकिन थानाध्यक्ष ने यह बात छुपाई और उनकी लापरवाही के चलते यह घटना हुई। अगर हमें इस बात की जानकारी होती तो हम पूरी तैयारी और बुलेट प्रूफ जैकेट पहनकर जाते।