अलीगढ़ (उत्तर प्रदेश): अलीगढ़ मुस्लिम विश्वविद्यालय (एएमयू) से संबद्ध जवाहर लाल नेहरू मेडिकल कॉलेज अस्पताल के जूनियर डॉक्टरों ने स्वास्थ्यकर्मियों के लिये जरूरी सुरक्षात्मक उपकरणों की कमी पर चिंता जताई है। मेडिकल कॉलेज के रेजिडेंट डॉक्टर्स एसोसिएशन के उपाध्यक्ष डॉक्टर शाहनवाज इकबाली ने रविवार को संवाददाताओं को बताया, "जवाहर लाल नेहरू मेडिकल कॉलेज उत्तर प्रदेश में कोविड-19 संक्रमण के परीक्षण और इलाज के प्रमुख केन्द्रों में शामिल है। यहां स्वास्थ्यकर्मियों के लिये सर्जिकल मास्क और सेनेटाइजर तथा अन्य सुरक्षात्मक उपकरणों की भारी कमी है, जिसे नजरअंदाज नहीं किया जा सकता।"
उन्होंने कहा, ‘‘आवश्यकता की तात्कालिकता को देखते हुए रेजिडेंट डॉक्टरों ने अपने पैसे और कुछ अन्य लोगों से चंदा लेकर गत चार दिनों के दौरान करीब एक लाख रुपये के सुरक्षात्मक उपकरण खरीदे हैं।’’ एसोसिएशन के अध्यक्ष डॉक्टर हमजा मलिक ने बताया, "जब अस्पताल में सुरक्षात्मक उपकरणों की भारी कमी हुई तो जूनियर डॉक्टरों ने कार्य बहिष्कार की चेतावनी दी। हालांकि, एएमयू के कुलपति प्रोफेसर तारिक मंसूर के समस्या निवारण के आश्वासन पर ऐसा नहीं किया गया।’’
इस बीच, मेडिकल कॉलेज के एक प्रवक्ता ने बताया कि सुरक्षात्मक उपकरणों की आपूर्ति अभी 'पाइपलाइन' में है और खरीद प्रक्रिया में पारदर्शिता बरतने के लिये केन्द्र सरकार द्वारा निर्धारित प्रक्रिया का सख्ती से पालन किया जा रहा है। मालूम हो कि जवाहर लाल नेहरू मेडिकल कॉलेज अस्पताल उत्तर प्रदेश में कोविड-19 संक्रमण की जांच और इलाज के लिये बनाये गये चुनिंदा केन्द्रों में शामिल है। यहां करीब 450 जूनियर डॉक्टर कार्यरत हैं।