नई दिल्ली: राज्यसभा सांसद अमर सिंह ने गोरखपुर और फूलपुर लोकसभा उपचुनाव के नतीजों पर हैरानी जताई और कहा कि इस परिणाम की जिम्मेदारी मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ और उपमुख्यमंत्री केशव मौर्य को लेनी चाहिए। उन्होंने कहा कि दोनों अपने घर में हारे हैं। उन्होंने कहा कि पिछले लोकसभा चुनाव में मायावती के परंपरागत मतदाता ही उनके साथ रहे थे और यही स्थिति समाजवादी पार्टी के साथ भी थी।
अमर सिंह ने कहा कि मायावती जी.. अखिलेश और कांग्रेस के अलग-अलग रहने से वोट बंट गया था जिसका पूरा फायदा बीजेपी को मिला था। लेकिन इसबार स्थितियां बदल गईं। अमर सिंह ने कहा कि फूलपुर की हार सीधे तौर पर उपमुख्यमंत्री की जिम्मेदारी बनती है वहीं गोरखपुर का कलंक योगी जी पर लगेगा। उन्होंने कहा कि योगी जी लंबे अर्से से जिस सीट पर जीतते रहे हों वहां की हार हैरान करनेवाली है।
अमर सिंह ने कहा कि नॉर्थ ईस्ट में जहां बीजेपी पांव पसार रही है वहीं मुख्यमंत्री और उपमुख्यमंत्री का अपने घर में हार जाना निश्चित तौर पर हैरान करता है। सपा-बसपा गठबंधन पर उन्होंने कहा कि अखिलेश यादव के पिता को गेस्ट हाउस कांड में जेल भेजने का पूरा प्रयास मायावती जी कर रही हैं। मामला सुप्रीम कोर्ट में लंबित है। अब कैसे ये लोग अगले चुनाव में साथ होंगे यह देखने वाली बात हैं क्योंकि दोनों दलों के बीच सांप और आदमी जैसा संबंध है। मोदी जी की लोकप्रियता की बाढ़ में सांप और आदमी दोनों डूब रहे हैं। सांप फुफकार नहीं रहा है। दोनों अपनी जान बचाने में लगे हैं। वहीं अखिलेश यादव पर तंज कसते हुए अमर सिंह ने कहा कि जो शख्स अपने पिता नहीं हो सका वह बुआ का क्या होगा। वहीं मायावती के बारे में अमर सिंह ने कहा कि मायावती महारानी हैं। अमर सिंह ने कहा, 'दोनों के बीच गठबंधन मुश्किल है क्योंकि मायावती महारानी हैं। 80 सीटों में उन्हें 60 सीट चाहिए।