लखनऊ: समाजवादी पार्टी (सपा) अध्यक्ष अखिलेश यादव ने मंगलवार को बीजेपी की नीति पर तंज करते हुए कहा कि उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ की मर्जी के बगैर दिल्ली से भेजे गये प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के एक विश्वासपात्र सेवानिवृत्त अधिकारी को उन पर थोपा जा रहा है। अखिलेश ने मंगलवार को एक ट्वीट में प्रधानमंत्री के करीबी आईएएस अधिकारी रहे और गत जनवरी में बीजेपी में शामिल हुए उत्तर प्रदेश के मौजूदा विधान परिषद सदस्य ए के. शर्मा की तरफ इशारा करते हुए कहा "अजब है बीजेपी की नीति। उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री पर उनकी मर्ज़ी के विरुद्ध दिल्ली से भेजा एक अधिकारी थोपना और पश्चिम बंगाल की मुख्यमंत्री की मर्ज़ी के विरुद्ध एक अधिकारी को वहां से दिल्ली बुलाना।"
उन्होंने बीजेपी में अंदरूनी खींचतान का आरोप लगाते हुए इसी ट्वीट में कहा, "उत्तर प्रदेश में डबल इंजन से राज्य को खींचने के झूठे वादे करने वालों के बीच खींचातानी जारी है।" बता दें कि वर्ष 1988 बैच के गुजरात काडर के आईएएस अधिकारी ए. के. शर्मा को प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी का करीबी माना जाता है।
शर्मा इस साल जनवरी में स्वैच्छिक सेवानिवृत्ति लेकर बीजेपी में शामिल हो गए थे। उत्तर प्रदेश के मऊ जिले के मूल निवासी 58 वर्षीय शर्मा इस वक्त प्रधानमंत्री के संसदीय निर्वाचन क्षेत्र वाराणसी तथा उसके आसपास के इलाकों में कोविड-19 राहत एवं प्रबंधन कार्य की जिम्मेदारी संभाल रहे हैं। वह अप्रैल के दूसरे हफ्ते से वाराणसी में ही हैं।
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