लखनऊ: उत्तर प्रदेश में कोरोना संक्रमण को लेकर हालात तेजी से बिगड़ते जा रहे हैं। उत्तर प्रदेश में रविवार (18 अप्रैल) को कोरोना वायरस से एक दिन में अब तक सर्वाधिक 129 लोगों की मौत हो गई जबकि 30,596 नये मामले सामने आये। वहीं कोविड-19 टीका लेने के बावजूद राजधानी लखनऊ में लगभग 30 प्रतिशत हेल्थ वर्कर कोरोना पॉजिटिव हुए हैं। इनमें प्रमुख कोविड अस्पतालों के डॉक्टर, नर्स, तकनीशियन, वार्ड बॉय और प्रशासनिक अधिकारी शामिल हैं। इससे विभिन्न अस्पतालों में कोविड की सेवाएं पर काफी असर पड़ा रहा है।
राम मनोहर लोहिया आयुर्विज्ञान संस्थान में भी 2,000 कर्मचारियों में से कम से कम 600 कर्मचारियों कोरोना पॉजिटिव है। आरएमएलआईएमएस के प्रवक्ता डॉ श्रीकेश सिंह ने कहा करीब 30 फीसदी स्टाफ संक्रमित हैं। वहीं गैर-कोविड टीम कोविड पेसेंट की पहचान करते हुए भी संक्रमित हो रही है। उन्होंने आगे कहा, "हमने अपने कर्मचारियों को लगभग पूरी तरह से टीका लगाया है और काम करते समय उन्हें और सुरक्षित रहने को भी कहा है।"
किंग जॉर्ज मेडिकल यूनिवर्सिटी के एक वरिष्ठ चिकित्सक ने कहा यहां एक दिन में 40 डॉक्टरों कोरोना पॉजिटिव हुए। यह बीमारी इतनी संक्रामक है कि हर बार एक टीम 14-दिवसीय कोविड ड्यूटी पर जाती है, जिनमें से लगभग एक-चौथाई उनके साथ पॉजिटिव होकर लौटते हैं। उन्होंने कहा कि उनमें से कई होम आइशोलेशन में हैं, जबकि कुछ अस्पताल में भर्ती हैं।
इसी तरह की स्थिति बलरामपुर अस्पताल में भी है, जहां पिछले 72 घंटों में, 15 डॉक्टरों सहित कम से कम 24 स्टाफ सदस्य कोरोना पॉजिटिव हो गए। बलरामपुर अस्पताल में कोविड फैसिलिटीज के नोडल अधिकारी डॉ वी के पांडे ने कहा कि टेस्टिंग यूनिट को स्वच्छता के लिए 48 घंटे के लिए बंद कर दिया गया है।
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