अयोध्या (उप्र): बाबरी मस्जिद विध्वंस के कल 26 वर्ष पूरे होने को देखते हुए धार्मिक नगरी अयोध्या में सुरक्षा के कड़े बंदोबस्त किये गये हैं। राम जन्मभूमि के आसपास और हनुमानगढी में सुरक्षा के विशेष इंतजाम हैं। नगर में कड़ी सुरक्षा व्यवस्था के बीच आज स्थिति सामान्य नजर आयी। तीर्थयात्री हनुमानगढी के आसपास घूमते दिखे और दुकानें भी खुलीं।
अयोध्या के महापौर ऋषिकेश उपाध्याय ने ‘पीटीआई- भाषा’ को बताया कि हाल ही में विहिप की धर्म सभा के दौरान अयोध्या में शांति कायम रही। इस समय भी शांति है और पर्याप्त संख्या में सुरक्षा बल तैनात हैं। उन्होंने बताया कि राम जन्मभूमि और आसपास के क्षेत्रों में 20 से 25 कंपनी पुलिस एवं पीएसी स्थायी रूप से तैनात रहती है ताकि सुरक्षा को लेकर किसी तरह की कोई दिक्कत नहीं आये। प्रसाद और भोजन की दुकानें सामान्य रूप से खुलीं और ग्राहकों की आवाजाही दिखी।
विहिप ने 25 नवंबर को यहां अयोध्या में धर्म सभा का आयोजन किया था। वह छह दिसंबर को शौर्य दिवस मनाएगी। नगर में 18 दिसंबर को गीता जयंती का भी कार्यक्रम है।
विहिप प्रवक्ता शरद शर्मा ने बताया कि शौर्य दिवस पारंपरिक रूप से मनाया जाएगा। अयोध्या में विहिप एवं विभिन्न हिन्दू संगठनों के कई धार्मिक कार्यक्रमों का आयोजन प्रस्तावित है। हवन भी होगा और राम मंदिर निर्माण का संकल्प लिया जाएगा। उन्होंने बताया कि सर्व बाधा मुक्ति हवन होगा ताकि हर तरह की बाधाओं से मुक्ति प्राप्त हो सके । शहादत देने वाले निर्दोष कारसेवकों को श्रद्धांजलि दी जाएगी।
शर्मा ने कहा कि नौ दिसंबर को दिल्ली में एक अन्य धर्म सभा होगी। इसमें पांच लाख से अधिक लोगों के हिस्सा लेने की संभावना है। उन्होंने बताया कि 31 जनवरी और एक फरवरी को प्रयागराज में धर्म संसद होगी जिसमें देश भर के पांच हजार से अधिक साधु संत हिस्सा लेंगे। निर्मोही अखाडे़ के महंत रामदास ने बताया कि छह दिसंबर को शौर्य दिवस के रूप में मनाया जाएगा क्योंकि इसी दिन राम जन्मभूमि को मुगल ढांचे से मुक्त कराया गया था ।