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संसद का शीतकालीन सत्र रहा बेहद ही हंगामेदार, जानिए लोकसभा और राज्यसभा में हुआ कितना काम?

संसद का शीतकालीन सत्र बेहद ही हंगामेदार रहा। दोनों सदनों से विपक्ष के 146 सांसद निलमबित किए गए। सदन की सुरक्षा में लगी सेंध ने इस बार देशभर का ध्यान खींचा। वहीं इस बार केंद्र सरकार ने चार बड़े विधेयक पास भी कराए।

Written By: Sudhanshu Gaur @SudhanshuGaur24
Published on: December 22, 2023 9:21 IST
संसद का शीतकालीन सत्र रहा बेहद ही हंगामेदार - India TV Hindi
Image Source : FILE संसद का शीतकालीन सत्र रहा बेहद ही हंगामेदार

नई दिल्ली: संसद का शीतकालीन सत्र गुरुवार 21 दिसंबर को अनिश्चितकाल के लिए स्थगित हो गया। हालांकि इसे शुक्रवार 22 दिसंबर तक चलना था, लेकिन एक दिन पहले ही इसे स्थगित कर दिया गया। इस बार सत्र बेहद ही हंगामेदार रहा। वहीं 13 दिसंबर को लोकसभा में जो कुछ हुआ, उसकी कल्पना शायद ही किसी ने की हो। लोकसभा के दर्शक दीर्घा से दो युवक कूद गए और सभा में उन्होंने कलर बम छोड़ दिया। इस मामले में दिल्ली पुलिस की स्पेशल सेल जांच कर रही है और अब तक 6 लोगों की गिरफ्तारी कर चुकी है।

दोनों सदनों से 146 सांसदों को निलंबित किया गया

इस बार संसद के दोनों सदनों से ऐतिहासिक संख्या में सांसदों को निलंबित किया गया। दोनों सदनों से कुल 146 सांसदों को निलंबित किया गया। सभी निलंबित सांसद विपक्ष के ही थे। इसके साथ ही सरकार ने शीतकालीन सत्र के दौरान 4 बड़े बिल पास करा लिए। इस कारण कामकाज के लिहाज से इस सत्र को ऐतिहासिक भी कहा जा सकता है। 4 दिसंबर से शुरू हुए सत्र में लोकसभा में 61 घंटे से ज्यादा का कामकाज हुआ वहीं राज्यसभा में 65 घंटे काम हुआ।

लोकसभा 61 घंटे 50 मिनट तक चली

अगर लोकसभा की बाते करें तो इस सत्र में 14 बैठकें हुईं जो 61 घंटे 50 मिनट तक चली। इस दौरान 12 सरकारी विधेयक पेश किए गए। कुल 18 सरकारी विधेयक चर्चा के बाद पारित किए गए। लोकसभा ने 12 दिसंबर को चालू वित्त वर्ष में 58,378 करोड़ रुपये के शुद्ध अतिरिक्त व्यय को मंजूरी प्रदान कर दी, जिसमें एक बड़ा हिस्सा मनरेगा योजना और उर्वरकों के लिए सब्सिडी पर दिया जाएगा। 

इस सत्र में लोकसभा ने भारतीय न्याय संहिता (बीएनएस) विधेयक, 2023, भारतीय नागरिक सुरक्षा संहिता (बीएनएसएस) विधेयक, 2023 और भारतीय साक्ष्य (बीएस) विधेयक, 2023 को भी मंजूरी दी गई। ये तीनों विधेयक भारतीय दंड संहिता (आईपीसी), 1860, दंड प्रक्रिया संहिता (सीआरपीसी),1898 और भारतीय साक्ष्य अधिनियम, 1872 के स्थान पर लाए गए हैं। इसके साथ ही लोकसभा में इस सत्र के दौरान केंद्रीय माल और सेवा कर (दूसरा संशोधन) विधेयक, 2023; दिल्ली राष्ट्रीय राजधानी राज्यक्षेत्र विधि (विशेष उपबंध) दूसरा (संशोधन) विधेयक, 2023; दूरसंचार विधेयक, 2023 और कुछ अन्य विधेयकों को मंजूरी प्रदान की गई।

 राज्यसभा में 65 घंटे काम हुआ

वहीं अगर अगर उच्च सदन राज्यसभा की बात करें तो इस सत्र के दौरान 14 बैठकों में 65 घंटे काम हुआ। वहीं हंगामे के कराना सदन के 22 घंटे बर्बाद हो गए। इस सत्र की कुल उत्पादकता 79 प्रतिशत रही। इस दौरान 17 विधेयक पारित किए गए जिनमें भारतीय न्याय संहिता (बीएनएस) विधेयक, 2023, भारतीय नागरिक सुरक्षा संहिता (बीएनएसएस) विधेयक, 2023 और भारतीय साक्ष्य (बीएस) विधेयक, 2023 भी शामिल हैं। इसके अलावा सत्र के दौरान दूरसंचार विधेयक, 2023; डाकघर विधेयक, 2023; जम्मू कश्मीर आरक्षण (संशोधन) विधेयक, 2023; जम्मू कश्मीर पुनर्गठन (संशोधन) विधेयक, 2023; मुख्‍य निर्वाचन आयुक्‍त और अन्‍य निर्वाचन आयुक्त (नियुक्ति, सेवा शर्तें एवं पदावधि) विधेयक 2023; केंद्रीय विश्वविद्यालय (संशोधन) विधेयक, 2023 आदि को मंजूरी दी गई।

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