नई दिल्ली: दिल्ली में शनिवार को नीति आयोग की बैठक में पश्चिम बंगाल की सीएम ममता बनर्जी के माइक बंद किए जाने के आरोपों को सरकार ने खारिज कर दिया है। ममता के आरोपों पर जवाब देते हुए वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण ने कहा कि ममता बनर्जी को झूठ पर आधारित कहानी गढ़ने की बजाय इसके पीछे का सच बोलना चाहिए। सीतारमण ने कहा कि हर सीएण को बोलने के लिए उचित समय दिया गया था। उन्होंने कहा कि ममता बनर्जी की बात हम सभी ने सुनी।
‘हर सीएम को आवंटित समय दिया गया था’
निर्मला सीतारमण ने कहा, 'सीएम ममता बनर्जी ने नीति आयोग की बैठक में हिस्सा लिया। हम सभी ने उन्हें सुना। प्रत्येक सीएम को आवंटित समय दिया गया था और उसे स्क्रीन पर प्रदर्शित किया गया था जो हर टेबल के सामने मौजूद थी। उन्होंने मीडिया में कहा कि उनका माइक बंद कर दिया गया था। यह पूरी तरह से झूठ है। प्रत्येक मुख्यमंत्री को बोलने के लिए उचित समय दिया गया था। यह दुर्भाग्यपूर्ण है कि पश्चिम बंगाल की मुख्यमंत्री ममता बनर्जी ने दावा किया है कि उनका माइक बंद कर दिया गया था, जो सच नहीं है। उन्हें झूठ पर आधारित कहानी गढ़ने के बजाय इसके पीछे का सच बोलना चाहिए।'
'मुझसे पहले लोगों ने 10-20 मिनट तक बोला'
इससे पहले ममता बनर्जी ने कहा था, 'तीन साल से हमारा 100 दिन का काम (मनरेगा) बंद करके रखा, आवास योजना बंद करके रखा। ऐसे कोई सरकार नहीं चलती। आप अपनी पार्टी और दूसरी पार्टी में भेदभाव नहीं कर सकते, आप केंद्र में सत्ता में हैं। आपको सभी का ध्यान रखना होगा। मैं बोलना चाहती थी लेकिन मुझे सिर्फ 5 मिनट ही बोलने की इजाजत मिली। मुझसे पहले जिन लोगों ने बोला वे 10-20 मिनट तक बोले। विपक्ष की तरफ से मैं अकेली इस बैठक में हिस्सा ली। लेकिन फिर भी मुझे बोलने की अनुमति नहीं दी गई। यह अपमानजनक है।'