Highlights
- गुवाहाटी में होटल के बाहर कांग्रेस नेताओं ने किया प्रदर्शन
- शिंदे और उनके साथ महाराष्ट्र के बागी विधायक होटल में ठहरे हुए हैं
- कांग्रेस नेताओं को होटल में प्रवेश नहीं करने दिया गया
Maharashtra Political Crisis: कांग्रेस की असम इकाई ने शुक्रवार को उस होटल के पास प्रदर्शन किया जहां शिवसेना के बागी नेता एकनाथ शिंदे और उनके साथ आए महाराष्ट्र के अन्य विधायक ठहरे हुए हैं। कांग्रेस ने इन विधायकों से असम से चले जाने को कहा क्योंकि राज्य बाढ़ का सामना कर रहा है। कांग्रेस के प्रदेश अध्यक्ष भूपेन बोरा ने शिंदे को एक पत्र लिखकर कहा है कि इस तरह के नाजुक समय में उनकी उपस्थिति ने असम को ‘‘बदनाम’’ किया है। कांग्रेस नेताओं को होटल में प्रवेश नहीं करने दिया गया और वहां तैनात एक पुलिस अधिकारी से अनुरोध किया गया कि वह पत्र शिवसेना नेता को सौंपे। कांग्रेस के कार्यकर्ताओं ने कुछ देर तक नारेबाजी करते हुए होटल के पास प्रदर्शन किया।
'भाजपा सरकार के समर्थन ने असम और उसके लोगों की छवि खराब की'
महाराष्ट्र में शिवसेना के नेतृत्व वाली गठबंधन सरकार शिंदे की अगुवाई में विधायकों के एक वर्ग की बगावत के कारण संकट का सामना कर रही है। महाराष्ट्र में गठबंधन सरकार में कांग्रेस भी शामिल है। बोरा ने शिंदे को लिखे पत्र में कहा, ‘‘आपकी उपस्थिति से असम की बदनामी हुई है।’’ बोरा ने आरोप लगाया कि शिंदे की असम में मौजूदगी को भाजपा सरकार के कथित समर्थन ने असम और उसके लोगों की छवि खराब की है। कांग्रेस नेता ने दावा किया कि पर्याप्त राहत के अभाव में बाढ़ प्रभावित लोग समस्याओं का सामना कर रहे हैं और जब राज्य तबाही का सामना कर रहा है ‘‘यहां आपकी उपस्थिति और आपको शाही आतिथ्य प्रदान करने में राज्य की गतिविधियां काफी अनुचित और अस्वीकार्य हैं।’’
जल्द से जल्द असम छोड़ने की सलाह
बोरा ने आरोप लगाया कि असम में कई कद्दावर नेता हुए हैं लेकिन वर्तमान मुख्यमंत्री हेमंत बिस्व सरमा ने ‘‘खुद को राज्य में राजनीतिक खरीद-फरोख्त को प्रोत्साहित करने और समर्थन करने वाले सौदेबाज के अलावा और कुछ नहीं साबित किया है।’’ कांग्रेस नेता ने कहा कि सरमा और उनके सरकारी तंत्र को बाढ़ प्रबंधन में व्यस्त होना चाहिए, लेकिन यहां बागी विधायकों की मौजूदगी इसमें बाधक साबित हुई है।
मीडिया में साझा किए गए बोरा के पत्र में लिखा गया है, ‘‘आपने अपनी उपस्थिति से असम और उसके लोगों को जो नुकसान पहुंचाया है, उसे देखते हुए मैं आपको राज्य के व्यापक हित में जल्द से जल्द असम छोड़ने की सलाह देना चाहता हूं।’’