लक्षद्वीप: लोकसभा सचिवालय ने बुधवार को राष्ट्रवादी कांग्रेस पार्टी (NCP) के नेता मोहम्मद फैजल पीपी की सदस्यता बहाल कर दी। फैजल को एक आपराधिक मामले में दोषी ठहराये जाने और 10 साल के कारावास की सजा सुनाये जाने के बाद जनवरी में निचले सदन की सदस्यता से अयोग्य करार दिया गया था। लक्षद्वीप लोकसभा क्षेत्र का प्रतिनिधित्व कर रहे फैजल ने सेशन कोर्ट के आदेश के खिलाफ केरल हाई कोर्ट का रुख किया था और उन्हें दोषी ठहराये जाने तथा सजा के फैसले को निलंबित कर दिया गया। लोकसभा सचिवालय की अधिसूचना के अनुसार, केरल हाई कोर्ट के 25 जनवरी 2023 के आदेश के मद्देनजर फैजल की सदस्यता से अयोग्यता का फैसला समाप्त कर दिया गया है।
सुप्रीम कोर्ट में भी होनी थी सुनवाई
इस मामले में सुप्रीम कोर्ट में भी सुनवाई होनी थी, हालांकि इसके पहले ही फैजल की सदस्यता बहाल करने का फैसला आ गया है। लक्षद्वीप की एक अदालत ने 11 जनवरी को हत्या के प्रयास के मामले में लक्षद्वीप के सांसद मोहम्मद फैजल समेत 4 लोगों को 10 साल कैद की सजा सुनाई थी। मामले से जुड़े वकीलों ने कहा कि कवारत्ती में जिला और सत्र न्यायालय ने 2009 में उनके खिलाफ दर्ज हत्या के प्रयास के मामले में दोषियों पर एक-एक लाख रुपये का जुर्माना भी लगाया था।
फैजल पर क्या था आरोप?
वकीलों के मुताबिक, NCP सांसद मोहम्मद फैजल और अन्य लोगों पर आरोप था कि उन्होंने पूर्व केंद्रीय मंत्री पी. एम. सईद के दामाद पदनाथ सालिह पर तब हमला किया जब वे 2009 के लोकसभा चुनाव के दौरान एक राजनीतिक मुद्दे पर हस्तक्षेप करने के लिए उनके पड़ोस में पहुंचे थे। वहीं, फैजल ने कहा था कि यह 'राजनीति से प्रेरित' मामला है और वह जल्द ही ऊपरी अदालत में अपील दायर करेंगे। वहीं, लोकसभा सचिवालय ने हत्या के प्रयास के मामले में दोषी ठहराए जाने के बाद फैजल को अयोग्य करार देने वाली अधिसूचना जारी कर दी थी।
EC ने कर दिया था उपचुनाव का एलान
फैजल के अयोग्य घोषित होने के बाद निर्वाचन आयोग ने 18 जनवर को लक्षद्वीप लोकसभा सीट पर 27 फरवरी को उपचुनाव कराए जाने की घोषणा कर दी थी। हालांकि केरल हाई कोर्ट द्वारा फैजल की दोषसिद्धि और सजा की तामील पर रोक लगाने के बाद आयोग ने उपचुनाव को टाल दिया था। अब केरल हाई कोर्ट के द्वारा फैजल की सजा को निलंबित करने के बाद लोकसभा सचिवालय ने उनकी सदस्यता बहाल करने की अधिसूचना जारी कर दी है। बता दें कि हाल ही में मानहानि के एक मामले में सजा पाने के बाद कांग्रेस नेता राहुल गांधी की लोकसभा सदस्यता चली गई थी।