लोकसभा चुनाव खत्म हो चुका है। अब बारी सरकार बनाने की है। पीएम नरेंद्र मोदी के नेतृत्व में इस बार भाजपा बहुमत के आंकड़े को नहीं छू पाई है। हालांकि एनडीए गठबंधन के दलों और भाजपा द्वारा दावा किया जा रहा है कि देश में एनडीए की सरकार बनने जा रही है। वहीं कांग्रेस नीत इंडी गठबंधन के दल अब भी बहुमत के आंकड़े से दूर है। इस कारण बार-बार इंडी गठबंधन के दलों द्वारा बार-बार अन्य पार्टियों को साथ आने का आह्वान किया जा रहा है। एक तरफ जहां नरेंद्र मोदी 9 जून की शाम 6 बजे प्रधानमंत्री पद की शपथ लेने की तैयारी कर रहे हैं। वहीं दूसरी तरफ राहुल गांधी 6 जून को प्रेस कॉन्फ्रेंस कर रहे हैें।
क्या बोले राहुल गांधी
राहुल गांधी ने इस दौरान कहा कि 31 मई को शेयर मार्केट में जबरदस्त हलचल हुई। उन्होंने कहा कि स्टॉक मार्केट की जेपीसी जांच करे। उन्होंने कहा कि गृहमंत्री ने साफ-साफ कहा था कि 4 जून से पहले शेयर खरीद लीजिए। वहीं पीएम मोदी ने कहा था कि स्टॉक मार्केट सारे रिकॉर्ड तोड़ने वाली है। लेकिन 4 जून को सब पलट गया। निवेशकों पर एग्जिट पोल और चुनावी परिणाम का बुरा प्रभाव पड़ा। वहीं 3-4 जून को स्टॉक मार्केट बुरी तरह से क्रैश हो गया और लोगों का भारी नुकसान हुआ।
पीएम मोदी और अमित शाह पर बरसे राहुल गांधी
राहुल गांधी ने कहा कि चुनावों के दौरान हमने पहली बार देखा है कि प्रधानमंत्री, केंद्रीय गृहमंत्री और वित्तमंत्री ने शेयर बाजार को लेकर टिप्पणी की है। प्रधानमंत्री ने कहा था कि शेयर बाजार बहुत तेजी से ऊपर बढ़ने जा रही है। अमित शाह ने कहा था कि 19 मई से पहले शेयर खरीद लीजिए। पीएम मोदी ने कहा था कि 4 जून को बाजार रिकॉर्ड तोड़ देगा। राहुल गांधी ने कहा कि ये क्रोनोलॉजी है। अमित शाह ने कहा कि 4 जून से पहले शेयर खरीदिए। 19 मई को मोदी जी कहते हैं, स्टॉक मार्केट 4 जून को रिकॉर्ड तोड़ देगी। 28 मई को फिर वही बयान देते हैं। 1 जून को मीडिया गलत एग्जिट पोल जारी करती है। भाजपा का अधिकारिक इंटरनल सर्वे वो उन्हें 220 सीट दे रहा था। भाजपा के नेताओं के पास ये सूचना थी। खुफिया एजेंसी ने 200-220 के बीच सीट आएगी सरकार को ये बताया ता। 3 जून को स्टॉक मार्केट सारे रिकॉर्ड तोड़ देता है और 4 जून को स्टॉक मार्केट अंडरग्राउंड चला जाता है।