राज्यसभा सदस्य कपिल सिब्बल ने शुक्रवार को कहा कि यह अजीब है कि एक अदालत ने पुलिस को कर्नाटक के पूर्व मुख्यमंत्री बी.एस.येदियुरप्पा को गिरफ्तार करने से रोक दिया, जबकि दिल्ली के मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल और झारखंड के पूर्व मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन के साथ किसी मामूली व्यक्ति की तरह व्यवहार किया जा रहा है। इस महीने की शुरुआत में, कर्नाटक उच्च न्यायालय ने पुलिस को येदियुरप्पा को यौन अपराधों से बच्चों के संरक्षण (पॉक्सो) मामले में गिरफ्तार करने से रोक दिया था।
"वह पूर्व मुख्यमंत्री हैं, कोई मामूली व्यक्ति नहीं"
अदालत ने आदेश पारित करते समय कथित तौर पर कहा था कि वह एक पूर्व मुख्यमंत्री हैं, कोई मामूली व्यक्ति नहीं। दिल्ली उच्च न्यायालय ने कथित आबकारी घोटाले से जुड़े धन शोधन मामले में मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल को जमानत देने के निचली अदालत के आदेश पर शुक्रवार को अंतरिम रोक लगा दी। वरिष्ठ अधिवक्ता और सुप्रीम कोर्ट बार एसोसिएशन के अध्यक्ष सिब्बल ने ‘एक्स’ पर एक पोस्ट में कहा, "न्यायाधीश ने येदियुरप्पा को कथित यौन शोषण मामले में अग्रिम जमानत देते हुए कहा कि वह कोई मामूली व्यक्ति नहीं हैं। एच.डी.रवन्ना को कथित अपहरण मामले में जमानत दी गई। अरविंद केजरीवाल, हेमंत सोरेन के साथ मामूली व्यक्ति की तरह व्यवहार किया गया है। यह अजीब है।"
कोर्ट से अरविंद केजरीवाल को लगा झटका
दिल्ली शराब घोटाला मामले में अरविंद केजरीवाल को शुक्रवार को कोर्ट की तरफ से फिर झटका लगा है। दिल्ली हाईकोर्ट ने अरविंद केजरीवाल की जमानत के माले पर दिनभर चली सुनवाई के बाद अपना फैसला सुरक्षित रख लिया है। बता दें कि बीते दिन गुरुवार को राउज एवेन्यू कोर्ट ने आम आदमी पार्टी के संयोजक अरविंद केजरीवाल को जमानत दे दी थी। हालांकि, शुक्रवार को ईडी ने केजरीवाल की जमानत के खिलाफ हाईकोर्ट में याचिका दी जिसकी सुनवाई के बाद कोर्ट ने अपना फैसला सुरक्षित रख लिया।
(इनपुट-भाषा)