नई दिल्ली: विकिपीडिया पर होने वाले एडिट्स पर नजर रखने वाले एक ट्विटर हैंडल ने पाया है कि देश के पहले प्रधानमंत्री जवाहरलाल नेहरू और उनके पूर्वजों को लेकर बदलाव किए गए थे। ये बदलाव भारत सरकार के IP अड्रेस से किए गए थे और इनमें लिखा गया था कि पंडित नेहरू के दादा गंगाधर नेहरू मुस्लिम थे।
गुमनाम यूजर्स और खासकर भारत सरकार के IP से होने वाले एडिट्स को ट्रैक करने वाले ट्विटर हैंडल @AnonGoIWPEdits ने इस बारे में ट्वीट करके जानकारी दी है। इस ट्विटर हैंडल को चलाने वाले सेंटर फॉर इंटरनेट ऐंड सोसाइटी के पॉलिसी डायरेक्टर प्रकाश ने नोट किया कि इस तरह से सभी बदलाव एक ही IP अड्रेस से किए गए थे। जब IP को whois.domaintools.com पर चेक किया गया तो पाया कि यह सरकार के नैशनल इन्फर्मैटिक्स सेंटर (NIC) का है।
प्रकाश ने कहा, 'यह दिखाता है कि आईपी अड्रेस NIC का था, इससे ज्यादा और कुछ पता नहीं चलता।' जब उनसे पूछा गया कि क्या किसी खास यूजर के बारे में पता चल सकता है जिसने यह काम किया हो। इस पर उन्होंने कहा कि यह बहुत मुश्किल है, क्योंकि यह साफ नहीं है कि NIC के नेटवर्क का ऐक्सेस किस-किस को मिला हुआ है।
शरारतपूर्ण ढंग से किए गए एडिट्स में कहा गया था, 'गंगाधर जन्म से मुस्लिम थे और उनका नाम गियासुद्दीन गाजी था, मगर अंग्रेजों से बचने के लिए इसे गंगाधर बना दिया गया था।' ऐसे ही बदलाव गंगाधर के बेटे मोतीलाल नेहरू और पोते जवाहरलाल नेहरू के पेज पर भी किए गए थे। जवाहरलाल नेहरू और देश के पहले गवर्नर जनरल लॉर्ड माउंटबैटन की पत्नी एडविना के बीच 'अफेयर' को लेकर भी बहुत कुछ लिखा गया था।
प्रकाश ने कहा, 'हो सकता है कि NIC के कंप्यूटर हैक हुए हों, मगर कोई ऐसा सिर्फ विकिपीडिया एडिट करने के लिए क्यों करेगा? नकली आईपी बनाना भी कोई आसान काम नहीं है।' ऑनलाइन इनसाइक्लोपीडिया के वॉलनटिअर एडिटर्स ने बाद में इन बदलावों को हटाकर ठीक कर दिया था।
प्रकाश ने 9 महीने पहले अमेरिका और यूके में हुए इसी तरह के शरारती एडिट्स के बाद नजर रखना शुरू कर दिया था। उन्होंने कहा, 'मेरे ख्याल से यह देखना मजेदार है कि सरकार के लोग चुपके से क्या एडिट करते हैं।' उन्होंने कहा कि अगर कोई शख्स बिना रेफरेंस और मजबूत आधार के कोई एडिट करता है तो विकिपीडिया के वॉलनटिअर एडिटर तुरंत बदलावों को हटा देते हैं।