नई दिल्ली: मुस्लिम पार्टी विवाद जल्दी से कांग्रेस का पीछा छोड़ता नहीं दिख रहा है। जहां एक तरफ इस मुद्दे को लेकर कांग्रेस बीजेपी पर हमलावर है तो वहीं ये स्टोरी छापने वाले इंकलाब अखबार के एडिटर भी खुलकर अपनी स्टोरी के बचाव में आ गए हैं। वहीं कांग्रेस इस खबर को को पूरी तरह से खारिज कर चुकी है। अपनी स्टोरी के बचाव करते हुए इंकलाब अखबार के संपादक मुमताज आलम रिजवी ने दावा किया है राहुल गांधी ने गर्व के साथ ये बात कही थी कि कांग्रसे मुसलमानों की पार्टी है। साथ ही उन्होंने कहा कि उस बैठक में मौजूद कांग्रेसी नेता नदीम जावेद भी पहले ही रिकॉर्ड पर इस बात की पुष्टि कर चुके हैं कि हमारी स्टोरी में कुछ भी गलत नहीं है। साथ ही उनहोंने ये भी कहा कि कांग्रेस इस मुद्दे पर रक्षात्मक रुख अपनाते हुए ये क्यों कह रही है कि राहुल गांधी ने ऐसा कुछ नहीं कहा।
दरअसल ये सारा मामला तब सुर्खियों में आया। एक उर्दू दैनिक ने दावा किया है कि राहुल गांधी ने मुस्लिम बुद्धिजीवियों के साथ मुलाकात के दौरान कहा कि कांग्रेस मुस्लिम पार्टी है। इसके बाद दो दिल पहले आजमगढ़ में अपनी रैली में पीएम मोदी ने कांग्रेस पर इसको लेकर जोरदार हमला बोलते हुए पूछा था कि तीन तलाक बिल का समर्थन ना देने के कारण क्या कांग्रेस मुस्लिमों में भी क्या सिर्फ पुरुषों की पार्टी है। पीएम के इस सीधे हमला के बाद कांग्रेसी नेता आनंद शर्मा ने इस मुद्दे पर पीएम से माफी की मांग करते हुए कहा था कि, ‘‘उनकी ओर से समाज को बांटने का एक प्रयास किया गया है...उनकी मुख्य प्रतिद्वंद्वी पार्टी कांग्रेस ने राष्ट्रीय आंदोलन का नेतृत्व किया और स्वतंत्रता के लिए संघर्ष किया...उसे मुस्लिमों की पार्टी कहना प्रधानमंत्री को शोभा नहीं देता। उन्हें अपने बयान के लिए माफी मांगनी चाहिए।’’
वहीं पार्टी के मुख्य प्रवक्ता रणदीप सुरजेवाला भी कुछ दिनों पहले ही 'मुस्लिम पार्टी' वाली खबर को खरिज करते हुए कहा था कि नरेंद्र मोदी सरकार की नाकामियां छिपाने के लिए अफवाहें फैलाई जा रही हैं। लेकिन अखबार के एडिटर द्वारा अपनी स्टोरी के पक्ष में बयान देने के चलते ये मामला फिर से सुर्खियों में आ गया है। सोमवार को बीजेपी ने फिर कांग्रेस पर इसे हमला बोलते हुए कहा कि कांग्रेस ने तुष्टीकरण की राजनीति करके देश का बहुत नुकसान किया है । और एक बार फिर उसकी तुष्टीकरण की राजनीति की कलई खुल गई है।