नई दिल्ली: महाराष्ट्र में शिवसेना और भाजपा के बीच दूरियां इतनी बढ़ती जा रही हैं कि शिवसेना ने गठबंधन तोड़ने का मन बना लिया है। ये ऐलान खुद शिवसेना प्रमुख उद्धव ठाकरे के बेटे आदित्य ठाकरे ने किया है। शिवसेना के युवा मोर्चा के अध्यक्ष आदित्य ठाकरे अहमदनगर जिले में एक रैली को संबोधित कर रहे थे। कार्यकर्ताओं और समर्थकों के बीच आदित्य ने साफ-साफ कह दिया कि भाजपा और शिवसेना की राहें अब जुदा हो जाएंगी लेकिन इसमें अभी एक साल तक का वक्त लगेगा।
उन्होंने कहा, शिवसेना एक वर्ष में सरकार छोड़ देगी और अपने बल पर सत्ता में वापस आएगी। पार्टी सरकार कब छोड़ेगी इसका निर्णय शिवसेना अध्यक्ष उद्धव ठाकरे करेंगे। महाराष्ट्र में विधानसभा चुनाव 2019 में होगा। आदित्य ठाकरे ने पार्टी कार्यकर्ताओं से कहा, 'जब महाराष्ट्र सरकार से अलग होने का फैसला ले लिया जाएगा, तो सभी पार्टी कार्यकर्ताओं को बदलाव लाने के लिए एक साथ मिलकर काम करना होगा। शिक्षा और छात्रों से जुड़ी सभी समस्याओं के समाधान के प्रति शिवसेना पूरी तरह से प्रतिबद्ध है।'
अक्टूबर 2014 में विधानसभा चुनावों से ठीक पहले सीटों के बंटवारे और मुख्यमंत्री पद को लेकर ऐसा विवाद हुआ कि दोनों का 25 साल पुराना गठबंधन टूट गया। चुनावों में भाजपा की सरकार बनी तो शिवसेना भी सरकार में शामिल हो गई। उसके बाद नगर निगम चुनाव में भी दोनों अलग-अलग लड़े। अब आदित्य के बयान से साफ है कि 2019 के विधानसभा और लोकसभा चुनाव में भी भाजपा-शिवसेना का गठबंधन नहीं रहेगा।