नई दिल्ली. राजस्थान कांग्रेस में मचे सियासी संग्राम के बीच सोमवार रात को सचिन पायलट पहली बार कैमरे के सामने आए। इस दौरान सचिन पायलट कांग्रेस पार्टी के वरिष्ठ नेताओं के साथ थे। मीडिया के सवालों पर सचिन पायलट के कहा कि पिछले कुछ समय से हमारे कुछ विधायक दिल्ली में थे, कुछ ऐसे मुद्दे थे जो हम उठाना चाहते थे, मैंने वो किया भी। मैं शुरू से कह रहा हूं कि ये सभी चीजें सिद्धांत पर आधारित थीं। मैंने हमेशा सोचा कि पार्टी के हित में इन चीजों को उठाया जाना आवश्यक है।
पायलट ने कहा कि कई बातें कही गईं, मैंने बहुत सी बातें सुनीं। जो कुछ कहा गया उससे मैं हैरान था। मुझे लगता है कि हमें हमेशा संयम और विनम्रता बनाए रखना चाहिए। राजनीति में व्यक्तिगत द्वेष के लिए कोई जगह नहीं है। हमने 5 साल की कड़ी मेहनत के बाद राजस्थान में सरकार बनाई थी। उन्होंने कहा कि सोनिया गांधी जी ने हमारी सभी चिंताओं और शासन के मुद्दों को सुना, जो हमने उठाए।
उन्होंने कहा कि कांग्रेस अध्यक्ष द्वारा 3 सदस्यीय समिति का गठन एक स्वागत योग्य कदम है। मुझे लगता है कि सभी मुद्दों को हल किया जाएगा। सचिन पायलट ने कहा कि पार्टी हमें पद देती है और वापस भी ले सकती है। मुझे किसी पद की कोई इच्छा नहीं है लेकिन मैं चाहता था कि हमारा स्वाभिमान बरकरार रहे। मैंने अब 18-20 साल के लिए पार्टी में योगदान दिया है। हमने हमेशा उन लोगों की भागीदारी सुनिश्चित करने का प्रयास किया है जिन्होंने सरकार बनाने के लिए कड़ी मेहनत की है।
राजस्थान कांग्रेस में 'सुलह' के संक्रेत
राजस्थान में कांग्रेस के दोनों धड़ों के बीच 'सुलह' का संकेत देते हुए बागी विधायक भंवरलाल शर्मा ने सोमवार को मुख्यमंत्री अशोक गहलोत से मुलाकात की और कहा कि राजस्थान में गहलोत सरकार सुरक्षित है। शर्मा कांग्रेस के उन 19 विधायकों में से हैं जो गहलोत के नेतृत्व से नाराजगी जताते हुए बागी हो गए थे और कई दिनों से हरियाणा के एक रिजॉर्ट में रुके हुए थे। विधायक भंवरलाल शर्मा की मुख्यमंत्री गहलोत से यह मुलाकात नयी दिल्ली में बागी सचिन पायलट की राहुल गांधी और प्रियंका गांधी से मुलाकात के कुछ घंटे बाद हुई। शर्मा उन विधायकों में से हैं जिन्होंने राजस्थान में कांग्रेस में मौजूदा राजनीतिक लड़ाई में पायलट का साथ दिया। शर्मा ने कहा, ‘‘राजस्थान सरकार सुरक्षित है।’’
उन्होंने एक सवाल के जवाब में कहा, ‘‘मैं कांग्रेस के साथ हूं। राजस्थान में अशोक गहलोत कांग्रेस के मुखिया हैं।’’ विवादास्पद ऑडियो टेप आने के बाद शर्मा के खिलाफ राज्य सरकार को गिराने के षड्यंत्र में शामिल होने के आरोप का मामला है जिसकी जांच फिलहाल एसीबी द्वारा की जा रही है। शर्मा ने कहा, ‘‘मुझे ऑडियो टेप की जानकारी नहीं है और मैं गजेंद्र सिंह शेखावत को नहीं जानता।’’
मुख्यमंत्री निवास में गहलोत से मुलाकात के बाद उन्होंने कहा, ‘‘सरकार सुरक्षित है और चीजें मंगलवार तक साफ हो जाएंगी।’’ उन्होंने कहा कि अन्य बागी विधायकों को भी जयपुर लौट आना चाहिए।
शर्मा ने संवाददाताओं से कहा, ‘‘मैं मुख्यमंत्री गहलोत से मिला। यह आंतरिक मामला था जिसे अब सुलझा लिया गया है। पार्टी या मुख्यमंत्री से मेरी कोई नाराजगी नहीं है। विकास के काम का मुद्दा था। मुख्यमंत्री ने आश्वस्त किया कि काम होंगे।’’ उन्होंने कहा कि बाकी बागी कांग्रेस नेता भी आएंगे और चीजें मंगलवार तक साफ हो जांएगी। उल्लेखनीय है कि शर्मा 13 जुलाई से सार्वजनिक तौर पर सामने नहीं आए और माना यही जा रहा है कि वह पायलट खेमे के विधायकों के साथ हरियाणा के रिजॉर्ट में थे।